Chhattisgarh: छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री और पाटन विधानसभा से कांग्रेस के विधायक भूपेश बघेल (Bhupesh Baghel) की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं. पहले राज्य में कांग्रेस की सरकार गई, कांग्रेस के 9 मंत्री विधानसभा चुनाव हार गए. अब प्रदेश में पार्टी के मुख्य चेहरे भूपेश बघेल पर आदर्श आचार संहिता उल्लंघन का आरोप लग रहा है. दरअसल, बिलासपुर हाई कोर्ट में भाजपा सांसद विजय बघेल ने याचिका दायर की है. इस याचिका पर सुनवाई करते हुए हाई कोर्ट ने भूपेश बघेल को नोटिस भेजकर जवाब तलब किया है.
भाजपा सांसद ने लगाई है हाई कोर्ट में याचिका
छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस विधायक के भूपेश बघेल को हाईकोर्ट ने नोटिस जारी कर जवाब मांगा है. भूपेश को यह नोटिस दुर्ग सांसद विजय बघेल की याचिका पर जारी किया गया है. विजय बघेल विधानसभा चुनाव में पाटन सीट से भाजपा प्रत्याशी थे. विजय बघेल ने अपनी याचिका में भूपश बघेल पर आचार संहिता का उल्लंघन का आरोप लगाते हुए उनके निर्वाचन को शून्य घोषित करने की मांग की है.
क्या है विजय बघेल का आरोप?
विजय बघेल इससे पहले राज्य में मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी और चुनाव आयोग से भी भूपेश बघेल की शिकायत कर चुके हैं. चुनाव आयोग से शिकायत में विजय बघेल ने आरोप लगाया था कि 15 नवंबर की शाम को चुनाव प्रचार की समय सीमा खत्म होने के बाद भूपेश बघेल ने 16 नवंबर को चुनाव प्रचार किया. प्रमाण के तौर पर विजय बघेल ने आयोग को एक वीडियो भी दिया था.
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भूपेश बघेल को देना होगा नोटिस का जवाब
याचिका में भूपेश बघेल और ऑब्जर्वर के अतिरिक्त केंद्रीय चुनाव आयोग, राज्य सरकार और जिला निर्वाचन अधिकारी दुर्ग को भी पक्षकार बनाया गया है. अब इस मामले में अगली सुनवाई 26 फरवरी को होने वाली है.
6 बार के विधायक हैं भूपेश बघेल
गौरतलब है कि 2023 विधानसभा चुनाव में भूपेश बघेल और उनके भतीजे विजय बघेल एक ही सीट से चुनाव लड़ रहे थे. 3 दिसंबर को आए नतीजों में कांग्रेस के भूपेश बघेल ने बीजेपी के विजय बघेल को 19,723 वोटों से हरा दिया था. इसी के साथ भूपेश बघेल छठवीं बार जीत दर्ज की थी.