Chhattisgarh News: मुंगेली जिले के शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय टेमरी का है, जहां कक्षा 9 वी पढ़ने वाले 169 बच्चो में से 39 बच्चो का परीक्षाफल पूरक आया है, तो वही 41 बच्चे फेल हो गए है. स्कूल प्रबंधन विभाग की ऐसी लापरवाही की अब जो बच्चे फैल हुए है उन्हें प्रवेश देने से इंकार कर रही है.
कुछ बच्चों को टीसी थमा दिया गया है तो कुछ बच्चो को प्राइवेट स्कूल जाने की नसीहत दी जा रही है टीसी लेने वाले छात्र एडमिशन के लिए तरस रहे है तो फेल होने वाले छात्र प्रवेश के लिए स्कूल के चक्कर लगाने के लिए मजबूर है, लापरवाही का ऐसा आलम की शिक्षा से वंचित होने वाले बच्चे आज स्कूल को त्याग करके अन्य काम कर रहे है. कुल मिला कर छात्रों के भविष्य के साथ स्कूल प्रबंधन खिलवाड़ कर रही है.
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आखिर कहां जाए बच्चे?
इस पूरे मामले के बाद एक सवाल उठना लाजिमी हो गया है, कि आखिर बच्चे कहां जाएं. क्योंकि एक तरफ स्कूल प्रबंधन खुद बच्चों की पढ़ाई पर ध्यान नहीं देता, तो दूसरी तरफ इस तरह की स्थितियों पर उन्हें नकारा जा रहा है. यही कारण है कि बच्चे और उनके परिजन दोनों चिंतित है. सवाल इस बात को लेकर भी है, कि क्या बच्चे यदि फेल होते हैं, तो उन्हें दोबारा एडमिशन का अधिकार नहीं होता. बड़े अधिकारियों की इस पर संज्ञान लेना चाहिए और समस्या भी निपटाना चाहिए तभी मामला सुलझेगा और बच्चों को उनका हक मिल पाएगा नहीं तो ऐसे ही भटकना उनके जीवन का हिस्सा बना रहेगा.