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राणा दग्गुबाती से लेकर प्रकाश राज तक…कैसे ED के रडार पर आ गए 29 जाने-माने फिल्मी एक्टर्स?

Probo App Case

ED के रडार पर साउथ के एक्टर्स

Probo App Case: इन दिनों मनोरंजन जगत में ED यानी प्रवर्तन निदेशालय की कार्रवाई की खूब चर्चा हो रही है. ED ने तेलंगाना के 29 जाने-माने फिल्मी एक्टर्स, यूट्यूबर्स और इंस्टाग्राम इन्फ्लुएंसर्स पर शिकंजा कसा है. इन सभी पर आरोप है कि वे गैरकानूनी सट्टेबाजी ऐप्स का प्रमोशन कर रहे थे. आइये जानते हैं कि आखिर ये पूरा मामला क्या है?

कौन-कौन हैं इस लिस्ट में शामिल?

इस लिस्ट में फिल्मी दुनिया के कई बड़े नाम शामिल हैं, जैसे विजय देवरकोंडा, राणा दग्गुबाती, प्रकाश राज, मंचू लक्ष्मी, निधि अग्रवाल, प्रणीता सुभाष, अनन्या नागल्ला. इनके अलावा, एंकर श्रीमुखी, यूट्यूबर हर्षा साई, बय्या सनी यादव और लोकल बॉय नानी जैसे कई पॉपुलर चेहरे भी ED की जांच के दायरे में हैं. इन सभी पर सट्टेबाजी ऐप घोटाले में शामिल होने का आरोप लगा है.

कैसे शुरू हुआ ये पूरा मामला?

इस कहानी की शुरुआत होती है मियापुर के एक बिजनेसमैन फणिंद्र शर्मा की शिकायत से. उन्होंने आरोप लगाया कि कई बड़े फिल्मी चेहरे और सोशल मीडिया स्टार्स लोगों को इन सट्टेबाजी ऐप्स की तरफ खींच रहे हैं. शर्मा ने बताया कि इन ऐप्स से मिडिल क्लास और लोअर मिडिल क्लास परिवारों को काफ़ी नुकसान हो रहा है. इस शिकायत के बाद साइबराबाद पुलिस ने 19 मार्च, 2025 को 25 सेलिब्रिटीज के खिलाफ FIR दर्ज की थी. मामला गंभीर था, सो ED ने भी इसमें हाथ डाला और PMLA (धन शोधन निवारण अधिनियम) के तहत अपनी ECIR दर्ज कर ली.

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ED की पूछताछ

ED अब इन सभी स्टार्स और इन्फ्लुएंसर्स से कड़ी पूछताछ कर रही है. उनसे पूछा जा रहा है कि उन्होंने इन ऐप्स के प्रमोशन के लिए कितने पैसे लिए, उन्हें भुगतान कैसे मिला और उनकी टैक्स डिटेल्स क्या हैं. जांच में सामने आया है कि इन ऐप्स के ज़रिए हज़ारों करोड़ रुपये का लेन-देन हुआ है. ये ऐप्स युवाओं को जल्दी पैसा कमाने का लालच देते हैं, लेकिन बाद में लोग आर्थिक और मानसिक रूप से टूट जाते हैं.

PROBO ऐप पर भी ED का शिकंजा!

सिर्फ़ सेलिब्रिटीज ही नहीं, ED ने मेसर्स प्रोबो मीडिया टेक्नोलॉजीज प्राइवेट लिमिटेड नाम की एक कंपनी पर भी कार्रवाई की है. रुग्राम और जींद में चार ठिकानों पर तलाशी अभियान चलाया गया. यह कार्रवाई ऑनलाइन गेमिंग के नाम पर अवैध जुए और सट्टेबाजी को बढ़ावा देने के आरोप में हुई है. प्रोबो मीडिया अपनी ऐप और वेबसाइट ‘प्रोबो’ के ज़रिए ऑनलाइन गेमिंग के लिए प्लेटफॉर्म देती है.

PROBO में क्या गड़बड़ी मिली?

ED की जांच में सामने आया है कि ‘प्रोबो’ ऐप और वेबसाइट शुरुआत में खुद को एक वैध स्किल-आधारित प्लेटफॉर्म बताती थी, लेकिन बाद में सट्टेबाजी के ज़रिए यूज़र्स का शोषण करती थी. इसमें सफलता पूरी तरह से किस्मत पर निर्भर करती थी, यूज़र की स्किल पर नहीं. शिकायतकर्ताओं ने आरोप लगाया कि उनके साथ धोखाधड़ी की गई.

ED की तलाशी में यह भी खुलासा हुआ कि इस ऐप में नाबालिगों को रजिस्टर होने से रोकने की कोई व्यवस्था नहीं थी, उचित KYC (नो योर कस्टमर) का भी अभाव था, और यह भ्रामक विज्ञापनों के ज़रिए नए यूज़र्स को आकर्षित कर रही थी. यहां तक कि यह चुनाव परिणामों से संबंधित सट्टेबाजी को भी बढ़ावा दे रही थी. जांच में यह भी पता चला कि कंपनी को मॉरीशस, केमैन द्वीप और अन्य विदेशी संस्थाओं से प्रेफरेंस शेयर जारी करने के बदले 134.84 करोड़ रुपये मिले थे.

क्या-क्या हुआ ज़ब्त?

तलाशी के दौरान ED ने कई आपत्तिजनक दस्तावेज़ और डिजिटल डेटा ज़ब्त किए. इसके अलावा, 284.5 करोड़ रुपये के FD और शेयरों में निवेश के साथ-साथ तीन बैंक लॉकर भी ज़ब्त कर लिए गए हैं. ED इस मामले की गहराई से जांच कर रही है और आने वाले दिनों में और भी बड़े खुलासे होने की उम्मीद है.

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