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प्यार, पहाड़ और एक अनसुलझा रहस्य…आखिर 17 दिन से कहां है राजा की सोनम? मेघालय में ‘मौत का खेल’!

Indore Couple Missing Case

सोनम की तलाश जारी

Indore Couple Missing Case: इंदौर का एक नया-नवेला जोड़ा, राजा रघुवंशी और सोनम रघुवंशी, जिनकी शादी को अभी एक महीना भी नहीं हुआ था, अपने हनीमून के लिए मेघालय की खूबसूरत वादियों में पहुंचा. सपनों का यह सफर, जो प्यार और रोमांच से भरा होना चाहिए था, एक खौफनाक हत्याकांड में बदल गया. राजा की लाश एक गहरी खाई में मिली, सोनम अब भी लापता है और यह मामला अब देशभर में सुर्खियां बटोर रहा है. मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव ने सीबीआई जांच की सिफारिश की है, लेकिन सवाल यह है कि पुलिस की जांच कहां तक पहुंची? क्या मेघालय में पहले भी ऐसा कुछ हुआ है? और सबसे बड़ा सवाल कि आखिर सोनम कहां है? आइये इंदौर टू मेघायल पूरी कहानी विस्तार से जानते हैं.

इंदौर से शिलॉन्ग तक

11 मई 2025 को इंदौर में राजा और सोनम की शादी हुई. रघुवंशी परिवार में खुशी की लहर थी. राजा एक छोटा-मोटा बिजनेसमैन और सोनम एक प्राइवेट कंपनी में जॉब करने वाली. शादी के बाद हनीमून का प्लान बना. पहले तो कश्मीर जाने की बात थी, लेकिन वहां आतंकी हमले की खबरों ने प्लान बदल दिया. आखिरकार, दोनों ने मेघालय की हसीन वादियों को चुना, जहां बादल, झरने और लिविंग रूट ब्रिज की तस्वीरें इंस्टाग्राम पर देखकर उनका मन ललचा गया था. 20 मई को राजा और सोनम शिलॉन्ग पहुंचे. हंसी-मजाक, सेल्फी और रोमांटिक पलों के साथ उनका हनीमून शुरू हुआ. 22 मई को उन्होंने शिलॉन्ग में एक स्कूटर किराए पर लिया और मावलखियाट गांव से होते हुए नोंग्रियाट के मशहूर डबल डेकर लिविंग रूट ब्रिज की सैर को निकले.

यह जगह मेघालय की सबसे खूबसूरत जगहों में से एक है, जहां पेड़ों की जड़ों से बने प्राकृतिक पुल पर्यटकों को लुभाते हैं. रात को एक होमस्टे में रुकने के बाद, 23 मई की सुबह दोनों फिर से निकले. लेकिन इसके बाद, जैसे कोई डरावनी फिल्म शुरू हो गई, दोनों गायब हो गए!

लापता जोड़ा और परिवार की बेचैनी

जब राजा और सोनम का फोन बंद मिला, तो परिवार की नींद उड़ गई. इंदौर में राजा के भाई विपिन और सचिन ने पहले तो सोचा कि शायद नेटवर्क की दिक्कत हो, लेकिन 24 मई को उनकी किराए की स्कूटी सोहरा (चेरापूंजी) के पास लावारिस हालत में मिली. अब परिवार को पक्का यकीन हो गया कि कुछ गड़बड़ है. 26 मई को विपिन, सचिन और कुछ रिश्तेदार शिलॉन्ग पहुंचे. इंदौर पुलिस के जरिए मेघालय पुलिस से संपर्क किया गया, और गुमशुदगी का केस दर्ज हुआ. लेकिन मेघालय पुलिस की शुरुआती कार्रवाई धीमी थी. परिवार का आरोप है कि पुलिस ने इसे गंभीरता से नहीं लिया. “हम चीख-चीखकर कहते रहे कि हमारे बच्चे खतरे में हैं, लेकिन पुलिस ने कहा, ‘पहाड़ों में फोन बंद होना आम बात है, मिल जाएंगे.”

खाई में मिली लाश, खुला हत्या का राज

11 दिन बाद, 2 जून 2025 को मेघालय पुलिस और एनडीआरएफ की टीम को सोहरा के पास वेईसावडॉन्ग झरने की एक गहरी खाई में राजा का शव मिला. शव इतना सड़ चुका था कि पहचानना मुश्किल था. लेकिन राजा के दाहिने हाथ पर ‘राजा’ लिखा टैटू और उसकी स्मार्टवॉच ने सारी शंकाओं को दूर कर दिया. पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट ने सबको चौंका दिया. राजा की हत्या एक धारदार हथियार से की गई थी, जो मेघालय का पारंपरिक चाकू ‘दाओ’ था. शव के पास पुलिस को कुछ अहम सुराग मिले. राजा का मोबाइल फोन, जिसकी स्क्रीन टूटी थी. कुछ दवाइयों की स्ट्रिप. एक स्मार्टवॉच. एक सफेद महिला शर्ट, जो संभवतः सोनम की थी. एक रेनकोट, जिस पर खून जैसे दाग थे .

लेकिन राजा की सोने की चेन, अंगूठी, हीरे का ब्रेसलेट और बटुआ गायब था. इससे पुलिस को शक है कि यह लूटपाट के इरादे से की गई हत्या हो सकती है. मेघालय पुलिस ने तुरंत हत्या का मामला दर्ज किया और एक विशेष जांच दल (SIT) गठित किया, जिसका नेतृत्व SP सिटी हर्बर्ट खारकोंगोर कर रहे हैं.

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सोनम कहां है?

सोनम की तलाश में पुलिस, एनडीआरएफ, ड्रोन और खोजी कुत्ते लगाए गए. लेकिन 17 दिन बाद भी कोई सुराग नहीं मिला. परिवार को शक है कि सोनम का अपहरण हुआ है. कुछ का कहना है कि उसे बांग्लादेश ले जाया गया हो सकता है, क्योंकि मेघालय की सीमा बांग्लादेश से सटी है.

पुलिस को 21 मई का एक सीसीटीवी फुटेज मिला, जिसमें राजा और सोनम शिलॉन्ग के होमस्टे में चेक-इन करते दिख रहे हैं. सोनम ने सफेद शर्ट और काला जैकेट पहना था, और वह राजा के साथ हंसते-बात करते दिखी. यह वही शर्ट थी, जो बाद में राजा के शव के पास मिली. यह फुटेज जांच में सबसे बड़ा सुराग है, लेकिन सवाल यह है कि अगर सोनम की शर्ट वहां थी, तो वह खुद कहां है?

सीबीआई जांच की मांग

4 जून को राजा का शव इंदौर लाया गया. अंतिम संस्कार के दौरान गम और गुस्से का माहौल था. परिवार और रघुवंशी समुदाय ने सड़कों पर उतरकर ‘सीबीआई जांच’ की मांग की. राजा के भाई विपिन ने कहा, “पुलिस ने शुरुआत में लापरवाही की, वरना राजा को बचाया जा सकता था. अब सोनम की जान खतरे में है.” परिवार ने घर के बाहर एक बड़ा बैनर लगाया, जिस पर लिखा था, “राजा की आत्मा पुकार रही है, मैं मरा नहीं, मुझे मारा गया. सीबीआई जांच हो.”

परिवार को शक है कि इसमें कोई स्थानीय गैंग या स्कूटर किराए देने वाले का हाथ हो सकता है. रघुवंशी समुदाय ने पीएम मोदी को पत्र लिखकर सीबीआई जांच की मांग की. सोशल मीडिया पर #JusticeForRaja और #FindSonam ट्रेंड करने लगा.

सीएम मोहन यादव का दखल

मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव ने इस मामले को गंभीरता से लिया. उन्होंने मेघालय के मुख्यमंत्री कॉनराड संगमा से बात की और मध्य प्रदेश पुलिस को मेघालय प्रशासन के साथ समन्वय करने का आदेश दिया. 7 जून को उन्होंने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से सीबीआई जांच की सिफारिश की. मोहन यादव ने कहा, “राजा की हत्या और सोनम की गुमशुदगी की सच्चाई सामने आनी चाहिए. हमारी सरकार पीड़ित परिवार के साथ है.”

सुराग और सवाल में उलझी पुलिस

मेघालय पुलिस ने SIT के नेतृत्व में जांच तेज कर दी है. पूर्वी खासी हिल्स के SP विवेक स्येम ने कहा, “यह निश्चित रूप से हत्या है. हम लूटपाट, पुरानी दुश्मनी, या किसी साजिश जैसे सभी पहलुओं की जांच कर रहे हैं.” पुलिस ने हत्या में इस्तेमाल ‘दाओ’ और राजा का टूटा मोबाइल बरामद किया है. लेकिन कई सवाल अब भी अनुत्तरित हैं. राजा का शव उस जगह मिला, जहां पहले भी तलाशी हो चुकी थी. फिर 11 दिन बाद शव कैसे मिला? स्कूटी शव वाली जगह से 25 किमी दूर थी. क्या हत्यारे ने इसे वहां छोड़ा? सोनम की शर्ट शव के पास थी, लेकिन वह खुद कहां है? क्या वह जिंदा है? रेनकोट पर मिले दागों की फोरेंसिक जांच चल रही है. अगर ये खून के दाग हुए, तो यह जांच में नया मोड़ ला सकता है.

CBI जांच और पुलिस जांच में अंतर

पुलिस जांच स्थानीय स्तर पर होती है और कई बार सीमित संसाधनों, स्थानीय दबाव या लापरवाही के आरोपों का सामना करती है. इस मामले में भी परिवार ने मेघालय पुलिस पर शुरुआती ढिलाई का आरोप लगाया. दूसरी ओर, सीबीआई एक केंद्रीय एजेंसी है, जो मामलों की गहराई से जांच करती है. इसके पास, ज्यादा संसाधन और विशेषज्ञ टीमे होती हैं. वहीं, उन्नत फोरेंसिक और तकनीकी सुविधाओं के कारण मामले की तह तक जांच हो पाती है.

मेघालय की डरावनी कहानियां

मेघालय में पर्यटकों के साथ ऐसी घटनाएं नई नहीं हैं. अप्रैल 2025 में हंगरी के पर्यटक पुस्कास ज़ोल्ट लिविंग रूट ब्रिज के पास लापता हुए थे. 12 दिन बाद उनकी लाश मिली, जिसे पुलिस ने हादसा बताया. लेकिन राजा और सोनम का मामला पर्यटकों की सुरक्षा पर सवाल उठा रहा है. परिवार को शक है कि कोई स्थानीय गैंग सक्रिय हो सकता है, जो पर्यटकों को निशाना बनाता हो. मेघालय की सीमा बांग्लादेश से सटी होने के कारण तस्करी और अपहरण की आशंका भी जताई जा रही है.

एक अनसुलझा रहस्य

यह कहानी अब सिर्फ एक हत्याकांड नहीं, बल्कि एक थ्रिलर बन चुकी है. सीसीटीवी फुटेज, टैटू, टूटी स्क्रीन और रेनकोट जैसे सुराग इस रहस्य को और गहरा रहे हैं. मेघालय पुलिस और एनडीआरएफ सोनम की तलाश में दिन-रात जुटी हैं. कॉनराड संगमा ने दोषियों को सजा का भरोसा दिया है, लेकिन सवाल वही है कि सोनम कहां है? क्या यह लूटपाट थी, या इसके पीछे कोई बड़ी साजिश? क्या सीबीआई जांच इस दुखद कहानी को कोई नया अंत दे पाएगी?

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