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‘बीजेपी की जीत में छिपा है धोखा’, लोकसभा चुनाव 2024 पर राहुल का आरोप, EC को बताया ‘मुर्दा’

Rahul Gandhi

कांग्रेस नेता राहुल गांधी

Rahul Gandhi on EC: नई दिल्ली में कांग्रेस पार्टी के वार्षिक लीगल कॉन्क्लेव 2025 में लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने भारत की चुनावी प्रणाली पर गंभीर सवाल उठाए. उन्होंने दावा किया कि देश की चुनावी प्रणाली पूरी तरह से खोखली हो चुकी है और 2024 के लोकसभा चुनावों में व्यापक धांधली हुई, जिसके परिणामस्वरूप भारतीय जनता पार्टी (BJP) को केवल मामूली बहुमत प्राप्त हुआ. राहुल गांधी के इस बयान ने राजनीतिक गलियारों में हलचल मचा दी है और भारतीय निर्वाचन आयोग (ECI) ने इसे गैर-जिम्मेदाराना करार देते हुए तीखी प्रतिक्रिया दी है.

‘चुनाव प्रणाली मर चुकी है’- राहुल

लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने वार्षिक लीगल कॉन्क्लेव 2025 में अपने संबोधन के दौरान भारत की चुनावी प्रणाली पर बड़ा हमला बोला. उन्होंने कहा- ‘भारत की चुनाव प्रणाली पहले ही मर चुकी है. यह प्रणाली अब स्वतंत्र और निष्पक्ष नहीं रही.’ राहुल ने आरोप लगाया कि 2024 के लोकसभा चुनावों में बड़े पैमाने पर अनियमितताएं हुईं, जिसने बीजेपी को संसद में मामूली बहुमत दिलाने में मदद की. उन्होंने दावा किया कि उनकी पार्टी को मध्य प्रदेश और महाराष्ट्र जैसे राज्यों में वोट चोरी का शक है और महाराष्ट्र में एक करोड़ नए वोटर जोड़े गए, लेकिन जब कांग्रेस ने वोटर लिस्ट और वीडियोग्राफी की मांग की, तो आयोग ने कोई सहयोग नहीं किया.

लोकसभा चुनाव में धांधली का आरोप

राहुल गांधी ने 2024 के लोकसभा चुनाव में धांधली के अपने दावे को और मजबूत करते हुए कहा कि बीजेपी ने संवैधानिक संस्थाओं, जैसे कि चुनाव आयोग, पर दबाव बनाकर और मीडिया का दुरुपयोग करके अपनी जीत सुनिश्चित की. उन्होंने कहा- ‘देश ने देखा कि कैसे बीजेपी ने संसाधनों और संस्थानों का गलत इस्तेमाल किया. फिर भी, जनता ने इंडिया गठबंधन को मजबूत समर्थन दिया, जिसने बीजेपी को पूर्ण बहुमत से वंचित कर दिया.’ राहुल ने संविधान की प्रति हाथ में लेकर कहा कि देश के सबसे गरीब और पिछड़े नागरिकों ने संविधान को बचाने के लिए विपक्ष को वोट दिया.

कॉन्क्लेव में राहुल गांधी ने आगे कहा- ‘मैं हाल ही में चुनाव प्रणाली के बारे में बोल रहा था. मुझे हमेशा से संदेह था कि 2014 से ही कुछ गड़बड़ है. मुझे गुजरात विधानसभा चुनावों में पहले से ही संदेह था. व्यापक जीत हासिल करने की यह क्षमता. कांग्रेस पार्टी को राजस्थान, मध्य प्रदेश, गुजरात में एक भी सीट नहीं मिलती, यह मेरे लिए आश्चर्यजनक था. जब भी हम बोलते थे, लोग कहते थे, सबूत कहां है? फिर, महाराष्ट्र में कुछ हुआ. लोकसभा में, हम चुनाव जीत गए. और फिर 4 महीने बाद, हम न केवल हारे, बल्कि हमारा सफाया हो गया. तीन दल अचानक गायब हो गए. हमने चुनावी कदाचार की गंभीरता से तलाश शुरू की. हमें यह महाराष्ट्र में पता चला, लोकसभा और विधानसभा के बीच 1 करोड़ नए मतदाता सामने आए. इनमें से अधिकांश वोट भाजपा को गए… अब मैं बिना किसी संदेह के कहता हूं कि हमारे पास सबूत हैं.’

राहुल ने आयोग पर आरोप लगते हुए कहा- ‘हमारे पास ऐसे सबूत हैं जो पूरे देश को दिखा देंगे कि चुनाव आयोग जैसी संस्था का अस्तित्व ही नहीं है, यह गायब हो चुकी है. इस सबूत को खोजने में हमें 6 महीने का लगातार काम लगा है. आप बिना किसी संदेह के देखेंगे कि कैसे एक लोकसभा चुनाव चुराया जाता है. 6.5 लाख मतदाता वोट देते हैं और उनमें से 1.5 लाख मतदाता फर्जी होते हैं. हम आने वाले कुछ दिनों में आपको साबित कर देंगे कि लोकसभा चुनाव में कैसे धांधली हो सकती है और हुई भी.’

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भारतीय निर्वाचन आयोग की प्रतिक्रिया

भारतीय निर्वाचन आयोग (ECI) ने राहुल गांधी के आरोपों को ‘बेबुनियाद’ और ‘गैर-जिम्मेदाराना’ करार दिया. आयोग ने कहा कि जब राहुल गांधी को उनकी आपत्तियों पर चर्चा के लिए बुलाया गया, तो वह पेश नहीं हुए. आयोग ने 12 जून 2025 को राहुल को ईमेल और पत्र भेजा था, लेकिन कोई जवाब नहीं मिला. ECI ने अपने कर्मचारियों को ऐसे बयानों पर ध्यान न देने और निष्पक्ष रूप से काम करने का निर्देश दिया.

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