Independence Day 2024: सितंबर 2023 में जम्मू-कश्मीर के अनंतनाग जिले में आतंकवादियों के साथ मुठभेड़ में अपनी जान गंवाने वाले भारतीय सेना के कर्नल मनप्रीत सिंह को इस स्वतंत्रता दिवस पर मरणोपरांत कीर्ति चक्र से सम्मानित किया गया है. कीर्ति चक्र भारत का दूसरा सबसे बड़ा वीरता पुरस्कार है. सेना की 19 राष्ट्रीय राइफल्स इकाई के कमांडिंग ऑफिसर कर्नल मनप्रीत सिंह, मेजर आशीष धोंचक, जम्मू-कश्मीर पुलिस के DSP हुमायूं भट्ट और सिपाही प्रदीप सिंह ने पिछले साल 13 सितंबर को दक्षिण कश्मीर जिले के कोकरनाग इलाके के गडोले में आतंकवादियों के साथ मुठभेड़ में सर्वोच्च बलिदान दिया था.
चार कर्मियों को कीर्ति चक्र से किया गया सम्मानित
जम्मू-कश्मीर के एक पुलिस उपाधीक्षक सहित चार कर्मियों को स्वतंत्रता दिवस पर दूसरे सबसे बड़े शांतिकालीन वीरता पुरस्कार कीर्ति चक्र से सम्मानित किया गया. चार पुरस्कार विजेताओं में से तीन को मरणोपरांत कीर्ति चक्र मिल रहा है. प्राप्तकर्ताओं में कर्नल मनप्रीत सिंह, राइफलमैन रवि कुमार और डीएसपी हुमायूं भट शामिल हैं, जिन्हें मरणोपरांत यह पुरस्कार मिल रहा है. चौथा कीर्ति चक्र मेजर मल्ला राम गोपाल नायडू को दिया गया.
कर्नल मनप्रीत सिंह कौन थे?
19 राष्ट्रीय राइफल्स (RR) यूनिट के एक बेहद सम्मानित कमांडिंग ऑफिसर कर्नल सिंह को जम्मू-कश्मीर के अनंतनाग जिले के लार्कीपोरा, जालदूरा और कोकरनाग के सबसे ज़्यादा आतंकवाद प्रभावित इलाकों में एक नायक के तौर पर याद किया जाता है. उनकी विरासत लोगों के दिलों में ज़िंदा है. चंडीगढ़ के पास पंजाब के एक छोटे से गांव भरोंजियां के मूल निवासी कर्नल सिंह 19 आरआर बटालियन का नेतृत्व कर रहे थे, जब यूनिट के साथ अपना कार्यकाल पूरा करने से सिर्फ़ चार महीने पहले ही वो वीर गति को प्राप्त हुए. कर्नल सिंह युद्ध के अनुभवी थे और उन्हें 19 राष्ट्रीय राइफल्स के सेकेंड-इन-कमांड के रूप में अपने कार्यकाल के दौरान सेना पदक से सम्मानित किया गया था.