Hindenburg Report: देश में एक बार फिर से सियासी हलचल बढ़ गई है, जिसका कारण है हिंडनबर्ग की नई रिपोर्ट. हिंडनबर्ग की इस रिपोर्ट में सेबी अध्यक्ष पर सवाल उठाए गए हैं जिसके बाद से विपक्ष लगातार केंद्र सरकार को घेरना शुरू कर दिया है और इसकी जांच की मांग कर रहे हैं. तमाम विवादों के बीच अब बीजेपी ने भी अपनी प्रतिक्रिया दी है. बीजेपी के राज्य सभा सांसद सुधांशु त्रिवेदी ने हिंडनबर्ग की नई रिपोर्ट पर बोलते हुए कहा कि विपक्ष के तार सीमा पार जुडें हुए हैं.
बीजेपी की ओर से प्रतिक्रिया देते हुए सांसद सुधांशु त्रिवेदी ने कांग्रेस पार्टी पर जमकर निशाना साधा. सुधांशु त्रिवेदी ने कहा, “विपक्ष के तार सीमा पार से जुडें हुए हैं. राहुल गांधी एक ब्रिटिश कंपनी में काम कर चुके हैं, विदेशी कंपनी के साथ कांग्रेस का याराना है.”
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सुधांशु त्रिवेदी का कांग्रेस पर आरोप
इस मामले पर बोलते हुए उन्होंने आगे कहा कि कुछ लोग देश में आर्थिक आराजकता पैदा करना चाहते हैं, एलआईसी और एचएल को भी पहले बदनाम किया गया था. सुधांशु त्रिवेदी ने कांग्रेस पर आरोप लगते हुए बोला कि पिछले कई वर्ष से जब-जब संसद का सत्र चलता है तो विदेश से रिपोर्ट आती है.
क्या है हिंडनबर्ग की नई रिपोर्ट?
हिंडनबर्ग रिसर्च की नई रिपोर्ट में आरोप लगाया गया है कि सेबी की वर्तमान प्रमुख माधबी बुच और उनके पति ने अडानी के पैसों को हेराफेरी घोटाले में इस्तेमाल किया. इसकी ऑफशोर संस्थाओं में हिस्सेदारी थी, हिंडनबर्ग ने अपनी नई रिपोर्ट में कहा है कि अडानी समूह पर उसकी रिपोर्ट को लगभग 18 महीने बीत चुके हैं. जिसमें इस बात के पुख्ता सबूत भी पेश किए गए हैं कि ये भारतीय ग्रुप कॉर्पोरेट इतिहास का सबसे बड़ा घोटाला कर रहा था.
अडानी ग्रुप ने आरोपों को किया खारिज
समूह ने अपने खिलाफ लगाए गए आरोपों को भी खारिज कर दिया. अडानी समूह ने कहा कि उसकी कंपनियों के खिलाफ लगाए गए आरोपों को वह खारिज करता है और फिर से अपनी बात को दोहराता है कि उसकी विदेशी होल्डिंग का स्ट्रक्चर पूरी तरह से पारदर्शी है. हिंडनबर्ग की रिपोर्ट में अडानी समूह को लेकर कहा गया है कि उसने कंपनियों का जाल बुनकर फंड को इधर से उधर किया.