NEET UG Paper Leak: नीट-यूजी परीक्षा में कथित गड़बड़ियों की जांच कर रही CBI ने पेपर लीक घोटाले के मास्टरमाइंड संजीव मुखिया को अभी तक गिरफ्तार नहीं किया है. घोटाले के मामले में गिरफ्तार किए गए अन्य लोगों ने खुलासा किया है कि मुखिया कथित तौर पर बिहार के पटना और नालंदा में ‘पेपर लीक नेटवर्क’ चलाता है और उसके लिए एक गिरोह काम करता है.
वर्कर को मुखिया ने दिए बाइक
उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, राजस्थान, पश्चिम बंगाल, महाराष्ट्र, गुजरात और कुछ अन्य राज्यों में भी उसके सक्रिय पेपर लीक गिरोह थे, जहां सीबीआई फिलहाल मुखिया की तलाश कर रही है. गिरफ्तार आरोपियों ने सीबीआई को यह भी बताया कि मुखिया नेटवर्क चलाने में उसकी मदद करने वालों को वेतन देता था. मास्टरमाइंड ने कथित तौर पर अपने करीबी सहयोगियों को दोपहिया वाहन भी मुहैया कराए हैं. जांच एजेंसी को पता चला है कि मुखिया, जो फिलहाल नीट घोटाले के मामले में फरार है, अक्सर नेपाल भी जाता था.
अब तक कई लोगों की हुई है गिरफ्तारी
रविवार को सीबीआई ने गुजरात के गोधरा में एक निजी स्कूल के मालिक को गिरफ्तार किया. पंचमहल जिले में गोधरा के पास स्थित जय जलाराम स्कूल के मालिक दीक्षित पटेल की गिरफ्तारी के साथ ही अब तक गिरफ्तार किए गए लोगों की संख्या छह हो गई है. पंचमहल पुलिस द्वारा पहले गिरफ्तार किए गए अन्य पांच लोगों में वडोदरा स्थित शिक्षा सलाहकार परशुराम रॉय, जय जलाराम स्कूल के प्रिंसिपल पुरुषोत्तम शर्मा, स्कूल शिक्षक तुषार भट्ट और कथित बिचौलिए विभोर आनंद और आरिफ वोहरा शामिल हैं.
सीबीआई नीट पेपर लीक से जुड़े छह मामलों की जांच कर रही है. छह मामलों में से बिहार, गुजरात और महाराष्ट्र से एक-एक मामले की जांच की जा रही है, जबकि तीन राजस्थान से हैं. राष्ट्रीय परीक्षण एजेंसी (NTA) द्वारा आयोजित नीट-यूजी 2024 571 शहरों के 4,750 केंद्रों पर हुई थी, जिसमें 24 लाख से अधिक उम्मीदवार शामिल हुए थे. परिणाम 4 जून को घोषित किए गए थे. हालांकि, परिणाम घोषित होने के तुरंत बाद छात्रों ने अनियमितताओं के आरोप लगाए, जब बिहार में प्रश्नपत्र लीक होने के दावों के बीच 67 छात्रों ने शीर्ष अंक हासिल किए.
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कौन हैं संजीव मुखिया?
बता दें कि संजीव मुखिया का नाम पहले भी कई पेपर लीक में सामने आ चुका है. इससे पहले संजीव मुखिया गैंग का नाम शिक्षक बहाली और नीट पेपर लीक मामले में उजागर हो चुका है. बिहार के नालंदा जिले का रहने वाला संजीव मुखिया बहुत ही शातिर तरीक़ से पेपर लीक कांड करवाते रहा है. पश्चिम बंगाल के ब्लेसिंग सिक्योर प्रिंटिंग से जुड़े लोगों ईओयू की टीम ने गिरफ्तार किया है.
पिछले साल 1 अक्टूबर को सिपाही बहाली परीक्षा हुई थी, भर्ती परीक्षा होने से चार दिन पहले ही पेपर लीक कर दिया गया था. इस परीक्षा में 21 हजार से ज्यादा पदों के लिए एग्जाम लिए गए थे. पेपर लीक मामला तूस पकड़वने की वजह से एग्ज़ाम रद्द कर दिए गए थे. जांच के दौरान संजीव मुखिया गैंग के बारे में जानकारी सामने आई थी. हालांकि, अब पुलिस और सीबीआई की टीम को मुखिया की तलाश है.