Sarso ka Saag: सरसों का साग ते मक्के दी रोटी… आपने यह लाइन कभी ना कभी तो जरूर सुनी होगी. सर्दियां आते ही उत्तर भारत के रसोईघरों में सरसों के साग की एंट्री हो जाती है. पारंपरिक तौर पर इसे मक्के या बाजरे की रोटी के साथ खाया जाता है. लोग इसके स्वाद के दीवाने हैं. लेकिन बहुत लोगों को पता होगा कि स्वाद के साथ-साथ सरसों का साग हेल्थ के लिए लाभकारी है.
कई पोषक तत्वों से है भरपूर
सरसों के साग में विटामिन A, C, और K, फोलिक एसिड, कैल्शियम और आयरन जैसे महत्वपूर्ण पोषक तत्व होते हैं, जो शरीर को हेल्दी रखने में मदद करते हैं. इसके साथ ही इसमें मौजूद फाइबर आंत की सेहत के लिए अच्छा होता है. यह शरीर के डायजेशन सिस्टम को मजबूत बनाता है. सरसों के साग में मौजूद प्रोटीन मांसपेशियों की वृद्धि और हेल्थ के लिए लाभकारी है.
ब्लड प्रेशर को करता है कंट्रोल
सरसों के साग में मौजूद एंटीऑक्सीडेंट्स और ओमेगा-3 फैटी एसिड दिल की सेहत के लिए अच्छा रहता है. इसमें मौजूद पोटेशियम ब्लड प्रेशर को कंट्रोल में रखता है. सर्दी में होने वाली बीमारियों जैसे जुकाम-खांसी के खिलाफ भी यह रामबाण का काम करता है. इसमें मौजूद विटामिन C इम्यून सिस्टम को भी मजबूत करता है.
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इन सावधानियों का भी रखें ध्यान
सरसों के साग को ज्यादा मात्रा में खाने से पेट में गैस या ऐंठन हो सकती है. अगर आपको गॉल ब्लैडर की दिक्कत है तो इसे कम मात्रा में ही खाएं. सरसों के साग को अपनी डाइट में शामिल करने से टेस्ट और हेल्थ दोनों का ही फायदा मिल सकता है.
डिस्क्लेमर– यहां दिए गए सुझाव किसी चिकित्सा पेशेवर की सलाह का विकल्प नहीं हैं. किसी भी स्वास्थ्य समस्या या बीमारी के लिए कृपया अपने चिकित्सक या स्वास्थ्य विशेषज्ञ से परामर्श करें.