Coconut Water During Pregnancy: गर्भावस्था हर महिला के लिए एक बेहद संवेदनशील और खास समय होता है. इस दौरान मां बनने वाली महिलाएं अपने खानपान को लेकर खास ध्यान देती हैं. साथ ही समाज में प्रचलित कई मान्यताओं को भी मान लेती हैं. इन्हीं में से एक प्रचलित धारणा यह है कि प्रेग्नेंसी के दौरान नारियल पानी पीने से बच्चा गोरा पैदा होता है. लेकिन क्या वास्तव में ऐसा है? आइए जानते हैं इस मिथक के पीछे का वैज्ञानिक सच है.
नारियल पानी से बच्चा होगा गोरा?
अक्सर देखा गया है कि महिलाएं गर्भावस्था में नारियल या नारियल पानी इस सोच के साथ पीती हैं कि इससे उनका बच्चा गोरा पैदा होगा. यह मान्यता पीढ़ियों से चली आ रही है और अब भी कई परिवारों में देखने को मिलती है. लेकिन मेडिकल एक्सपर्ट्स का कहना है कि यह सिर्फ एक भ्रांति है. बच्चे की त्वचा का रंग किसी भी खाद्य पदार्थ से तय नहीं होता.
बच्चे के रंग पर मेलेनिन और जेनेटिक्स का असर
विशेषज्ञों के अनुसार, किसी भी इंसान की त्वचा का रंग शरीर में मौजूद मेलेनिन (Melanin) की मात्रा पर निर्भर करता है. जिनकी स्किन में मेलेनिन अधिक होता है, उनकी त्वचा सांवली या काली हो सकती है, जबकि कम मेलेनिन वाले लोगों का रंग हल्का यानी गोरा होता है. यह पूरी तरह से माता-पिता के जेनेटिक गुणों पर निर्भर करता है. इसलिए गर्भावस्था के दौरान चाहे महिला नारियल पानी पिएं, केसर दूध लें या कोई अन्य खास चीज खाएं, बच्चे की त्वचा की रंगत पर इनका कोई प्रभाव नहीं पड़ता है.
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नारियल पानी क्यों है सेहतमंद?
हालांकि नारियल पानी का बच्चे के रंग से कोई संबंध नहीं है, लेकिन यह गर्भवती महिला की सेहत के लिए लाभकारी जरूर है. इसमें मौजूद कैल्शियम, पोटैशियम और इलेक्ट्रोलाइट्स शरीर को ऊर्जा देते हैं और डिहाइड्रेशन से बचाते हैं. नारियल पानी पाचन को दुरुस्त करने, शरीर को तरोताजा रखने और थकान दूर करने में मदद करता है. यही कारण है कि डॉक्टर सीमित मात्रा में इसका सेवन करने की सलाह देते हैं.
किन्हें नहीं करना चाहिए अधिक सेवन
हर महिला के लिए नारियल पानी सुरक्षित हो, यह जरूरी नहीं. जिन गर्भवती महिलाओं को डायबिटीज या हाई ब्लड प्रेशर की समस्या है, उन्हें डॉक्टर से सलाह लिए बिना इसका सेवन नहीं करना चाहिए. नारियल पानी में नेचुरल शुगर और पोटैशियम की मात्रा होती है, जो इन समस्याओं को बढ़ा सकती है.
