Photos: ये है छत्तीसगढ़ का पहला ट्राइबल म्यूजियम, जो 43 जनजातियों की कलाकृति समेत इन चीजों के लिए है फेमस
श्वेक्षा पाठक
छत्तीसगढ़ का पहला ट्राइबल म्यूजियम
छत्तीसगढ़ के नवा रायपुर में पहला ट्राइबल म्यूजियम स्थापित किया गया है, जो 43 जनजातियों की संस्कृति को प्रदर्शित करता है.यह संग्रहालय 10 एकड़ में फैला है और 3D होलोग्राफिक डिस्प्ले, डिजिटल डिस्प्ले और इंटरएक्टिव इंस्टॉलेशन के जरिए जनजातीय जीवन का सजीव अनुभव कराता है.म्यूजियम का प्रवेश द्वार लकड़ी और मिट्टी की पारंपरिक जनजातीय स्थापत्य कला से सुसज्जित है. यहां से अंदर प्रवेश करते ही आगंतुक जनजातीय जीवन के रंगों में खो जाते हैं. यहां छत्तीसगढ़ की अलग-अलग जनजातियों की पारंपरिक पोशाकों और गहनों को पेश करती है, जिनमें बारीक हस्तकला और सांस्कृतिक सौंदर्य झलकता है. यहां लकड़ी की मूर्तियां, चित्रकला, मिट्टी के बर्तन और बांस से बनी हस्तनिर्मित वस्तुएं जनजातीय शिल्पकला की विविधता को दर्शाती हैं.म्यूजियम की सबसे अत्याधुनिक विशेषता है 3D डिस्प्ले बॉक्स, जिनमें जनजातीय जीवन, त्योहार और पूजा पद्धतियों को टेक्नोलॉजी के जरिए इंटरएक्टिव रूप में दिखाया गया है. यह संग्रहालय हर दिन सुबह 10 बजे से शाम 5 बजे तक दर्शकों के लिए खुला रहता है.