Lok Sabha Election 2024: PDA नहीं दूसरे पार्टी के नेताओं पर जोर, ब्राह्मण चेहरों से दूरी, परिवार पर भरोसा, पुराने दिग्गजों के साथ अखिलेश यादव
Lok Sabha Election 2024: आगामी लोकसभा चुनाव के लिए समाजवादी पार्टी ने 16 उम्मीदवारों के नामों का ऐलान कर दिया है. अखिलेश यादव ने बीते लंबे वक्त से बीजेपी के खिलाफ लगातार पीडीए फॉर्मूले की बात की है. इस लिस्ट में पार्टी ने इसी फॉर्मूले के तहत 11 ओबीसी उम्मीदवारों को मैदान में उतारा है. पार्टी ने तीन सामान्य जाति के उम्मीदवारों को भी लिस्ट में जगह दी है लेकिन एक भी ब्राह्मण चेहरा लिस्ट में जगह नहीं दी गई है.
दरअसल, अखिलेश यादव ने पीडीए फॉर्मूले के तहत अगड़ा पर जोर दिया था. लेकिन यूपी में मुस्लिम और यादवों के बाद सबसे बड़े वोट बैंक ब्राह्मणों की अनदेखी की गई है. पार्टी की लिस्ट में एक भी ब्राह्मण चेहरा नहीं है. जबकि राज्य में मुस्लिम और यादव के बाद करीब 12 फीसदी ब्राह्मण वोटर्स हैं. इसके उलट लिस्ट में परिवार के लोगों को तरजीह दी गई है. अखिलेश यादव ने परिवार के लोगों पर फिर एक बार भरोसा जताया है.
पत्नी पर नेताजी की विरासत बढ़ाने की जिम्मेदारी
सपा की लिस्ट में पार्टी के प्रमुख महासचिव और चाचा राम गोपाल यादव के बेटे अक्षय यादव को उम्मीदवार बनाया है. इसके अलावा सपा के गढ़ मैनपुरी में अखिलेश यादव ने एक बार फिर से अपनी पत्नी पर भरोसा जताया है. डिंपल यादव पर अब नेताजी की विरासत को आगे बढ़ाने की जिम्मेदारी होगी. इसके अलावा सपा प्रमुख चचेरे भाई धर्मेंद्र यादव को बदायूं से चेहरा बनाया गया है. पिछली बार उन्हें स्वामी प्रसाद मौर्य की बेटी संघमित्रा मौर्य ने हराया था.
अखिलेश यादव ने पहली लिस्ट में स्थानीय स्तर पर पुराने दिग्गज नेताओं पर भरोसा जाता है. पार्टी ने सांसद शफीकुर्रहमान बर्क को संभल से टिकट दिया है, जो पांच बार सांसद और चार बार विधायक रह चुके हैं. अकबरपुर से सपा ने राजाराम पाल को अपना चेहरा बनाया है, जो पहले बसपा से सांसद थे और बीते दो चुनावों में कांग्रेस के टिकट पर लड़े हैं. अंबेडकरनगर में सपा ने पिछड़े और अनुभवी नेता के तौर पर लालजी वर्मा को टिकट दिया है.
दूसरी दलों के नेताओं को तरजीह
इसके अलावा पूर्व मंत्री और बस्ती से सांसद रह चुके राम प्रसाद चौधरी पर अखिलेश यादव ने भरोसा जताया है. हालांकि दूसरी ओर देखा जाए तो लिस्ट में दूसरी पार्टी से आए नेताओं को तरजीह दी गई है. पूर्व बीजेपी नेता शिवशंकर पटेल को बांदा से टिकट दिया गया है. इसके अलावा कांग्रेस से सपा में आए राजाराम पाल और अन्नू टंडन को भी उम्मीदवार बनाया गया है.
इसके अलावा पार्टी ने पूर्व बीएसपी नेता राम प्रसाद चौधरी और लालजी वर्मा को टिकट दिया है. रामप्रसाद चौधरी बीएसपी की सरकार में मंत्री भी रह चुके हैं. जबकि अंबेडकर नगर में राकेश पांडे को उम्मीदवार बनाए जाने की चर्चा थी. लेकिन उनकी जगह बीएसपी के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष लालजी वर्मा को टिकट दे दिया गया है. जबकि बीएसपी सरकार में मंत्री रहे देवेश शाक्य के भाई नवल किशोर शाक्य को पार्टी ने उम्मीदवार बना दिया है.