Chhattisgarh News: बिलासपुर के सरकंडा थाने में एक दुखद घटना सामने आई है, जिसमें मोबाइल नहीं देने से नाराज बच्चों ने घर पर फांसी लगाकर खुदकुशी कर ली. सातवीं कक्षा का छात्र था जिसकी तबीयत ठीक नहीं थी. उसके पिता ने डांट कर उसे मोबाइल देने से मना कर दिया था. जिसके कारण ही वह आत्मघाती कदम उठाने को चला गया. एक दिन पहले उसने देर रात घर पर फांसी का फंदा लगाया और उसे पर वह झूल गया दादी जब घर से उठी तो उसने पोते का शव फांसी पर लटकता देखा.
इसके बाद उसने इसकी सूचना बाकी घर वालों को दी इस घटना के बाद घर वाले सदमे में और पिता भी जिसे बच्चे को मोबाइल देने से मना किया था और उसने ऐसा कदम उठा लिया. जिसके कारण उसे आत्मज्ञानी जैसा महसूस हो रहा है.
मोबाइल जिंदगी से भी ज्यादा कीमती
इस घटना के बाद पूरा बिलासपुर स्तब्ध है, आखिर एक 14 साल का बच्चा सिर्फ मोबाइल नहीं पाने के कारण जिस तरह से आत्मघाती कदम उठा रहा है. उसने समाज को सोचने पर मजबूर कर दिया है. आखिर मोबाइल जैसी छोटी सी चीज किसी की जिंदगी कैसे ले सकती है यह सवाल उठने लगा है. समाज के लोगों का कहना है कि बच्चों को मोबाइल से दूर रखा जाए लेकिन कैसे यह बड़ा सवाल है क्योंकि आज यह मोबाइल या स्मार्टफोन जीवन से ज्यादा महत्वपूर्ण हो गया है. दूसरी तरफ पुलिस के बड़े अधिकारी अपील कर रहे हैं कि परिजन बच्चों के तासीर को देखकर उन्हें मोबाइल उपलब्ध करवाए. और यह अपील भी की ऐसी आत्मघाती कदम उठाने से पहले बच्चों की काउंसलिंग जरूरी है.