Ram Mandir: 22 जनवरी को अयोध्या (Ayodhya) में बन रहे राम मंदिर ( Ram Mandir) में भगवान राम की प्राण प्रतिष्ठा होनी है. देश में भगवान राम के प्राण प्रतिष्ठा को लेकर पूरा माहौल राममय हो गया है. राम भक्त देश के अलग-अलग इलाकों से अपनी भक्ति के अनुसार भगवान राम के प्राण प्रतिष्ठा के लिए सामान अयोध्या भेज रहे हैं. लेकिन छत्तीसगढ़ (Chhattisgarh) में एक ऐसा राम भक्त है, जो पिछले 14 सालों से भगवान राम की भक्ति में डूबा हुआ है. ये पिछले 14 सालों से अब तक 67 लाख बार भगवान राम का नाम लिख चुके हैं. इनका लक्ष्य है कि वह एक करोड़ बार भगवान राम का नाम लिखें.
पूरा देश भगवान की भक्ति में डूबा
पूरा देश इन दिनों भगवान राम भक्ति में डुबा हुआ है, ऐसा लग रहा है कि भगवान राम धरती पर आने वाले वाले हैं. पूरे देश में भगवान राम पर बने गाने की धुन सुनाई दे रही है. क्या बच्चे, क्या युवा, क्या बुजुर्ग, क्या महिला सब भगवान राम के भक्ति में झूम रहे हैं. पूरा देश 22 जनवरी को भगवान राम के अयोध्या लौटने की खुशी में दीपावली मनाने की तैयारी में लगे हुवे है. देश के अलग-अलग कोनों से भगवान राम के प्राण प्रतिष्ठा के लिए कई अहम सामान अयोध्या भेजे जा रहे हैं. हर राम भक्त भगवान राम के प्रति अपनी भक्ति सोशल मीडिया के माध्यम से जाहिर भी कर रहे है. लेकिन छत्तीसगढ़ के बस्तर के जंगलों में रहने वाला एक ऐसा राम भक्त है जो भगवान राम के 14 साल वनवास की तरह ही पिछले 14 सालों से भगवान राम का नाम दीवारों और किताबों में लिख रहे हैं.
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14 सालों से जंगल में लिख रहे ‘राम’ का नाम
दरअसल, उस राम भक्त का नाम नारायण पांडे है, जो छत्तीसगढ़ के बस्तर के रहने वाले हैं. नारायण पांडे भगवान राम के एक ऐसे भक्त हैं जो बस्तर के वनांचल क्षेत्र में रहकर पिछले 14 सालों से भगवान राम का नाम दीवारों और किताबों में लिख रहे हैं. नारायण पांडे ने अब तक 67 लाख बार भगवान राम का नाम किताबें और दीवारों पर लिख चुके हैं. उनका लक्ष्य है कि वह एक करोड़ बार भगवान राम का नाम लिखे. जब उनका लक्ष्य पूरा हो जाएगा, तब वे अपने परिवार के साथ अयोध्या में बने भगवान राम के मंदिर में जाकर अपना माथा टेकेंगे. और भगवान राम का आशीर्वाद लेंगे.
क्या है इसके पीछे की कहानी
बस्तर के करीतगाँव में रहने वाले नारायण पांडेय ने बताया कि एक समय था जब मैं और मेरा परिवार काफी परेशानियों से जूझ रहा था, बहुत सारी तकलीफों काले बादल छाए हुए थे। एक दिन मेरे मित्र ने मुझे सलाह दी कि आप भगवान राम का नाम लिखना शुरू कर दे, मैं अपने दोस्त की बातों से सहमत हो गया और उसी दिन मैं जगदलपुर जाकर पेन और कॉपियां खरीदी. फिर 07 जनवरी 2011 की सुबह 9.30 बजे से मैं भगवान राम का नाम लेकर कॉपी में उनका नाम लिखना शुरू कर दिया. धीरे-धीरे जैसे ही मैंने भगवान का राम लिखना शुरू किया वैसे – वैसे मेरे घर की सारी परेशानियां दूर होने लगी. घर में सुख समृद्धि और शांति आने लगी. मुझे एहसास हुआ कि भगवान राम के नाम में बहुत ताकत है. तब से लेकर अभी तक तकरीबन 14 साल हो चुके हैं। अब तक मैंने अपने घरों के दीवारों और कॉपी में करीब 67 लाख बार भगवान राम का नाम लिख चुका हूं.
भगवान राम के दर्शन करने जाएंगे अयोध्या
नारायण पांडे आगे बताते हैं कि भगवान का नाम लिखते रहने के दरमियान मुझे एक पुत्र की प्राप्ति हुई, जिसे मैं भगवान राम आशीर्वाद मानता हूँ. भगवान राम का नाम लिखने का दौर लगातार जारी रहेगा. मैंने लक्ष्य तय किया है कि एक करोड़ बार भगवान राम का नाम लिखूंगा, अभी तक मैं 67 लाख बार भगवान राम का नाम लिख चुका हूं. जब एक करोड़ बार भगवान राम का नाम लिख लूंगा, उस दिन मैं अपने परिवार के साथ अयोध्या जाकर भगवान राम का दर्शन करूंगा और उनका आशीर्वाद लूंगा. आगे नारायण ने कहा कि जन्म से लेकर मरण तक राम नाम का जाप किया जाता है. और मरने के बाद भी राम का नाम ही साथ जाता है. इसीलिए वे भगवान राम नाम लगातार लिखते रहेंगे.
नारायण की बेटी भी लिखेगी भगवान राम का नाम
नारायण पांडे कि भगवान राम के प्रति आस्था देखकर उनके परिवार भी उनका साथ देने को तैयार है. अभी नारायण पांडे का घर का निर्माण चल रहा है. नारायण की बेटी गायत्री पांडेय ने बताया कि उनके पिता की लगन से वे काफी प्रेरित हुई हूँ. मुझे भी ऐसा लग रहा है कि मैं भी अब राम नाम लिखना शुरू करू. धीरे – धीरे पिता जी की तरह भगवान राम का नाम लिखने से मैं भी 1 करोड़ बार राम नाम लिखने तक जरूर पहुँच पाऊंगी. फिलहाल घर बनाने का काम चल रहा है. जैसे ही घर बनकर तैयार हो जाएगा उसी दिन से मैं भी भगवान राम का नाम लिखना शुरू कर दूँगी.