Electoral Bonds: राहुल गांधी के हफ्ता वसूली वाले बयान पर अमित शाह ने साधा निशाना, बोले- कांग्रेस बताए 1600 करोड़ कहां से लाई

Electoral Bonds: कांग्रेस के आरोपों पर केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने प्रतिक्रिया दी है. शाह ने कहा कि राहुल गांधी को भी 1600 करोड़ रुपये इलेक्टोरल बॉन्ड के जरिए मिले हैं. उन्हें बताना चाहिए कि कांग्रेस ने कहां से हफ्ता वसूला है.
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अमित शाह (फाइल फोटो)

Electoral Bonds: इलेक्टोरल बॉन्ड को लेकर कांग्रेस नेता राहुल गांधी लगातार भाजपा को घेर रहे हैं. उन्होंने कहा है कि केंद्रीय जांच एजेंसियां सरकार की वसूली एजेंट बन कर काम कर रही हैं. वहीं, अब कांग्रेस नेता के आरोपों पर केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने प्रतिक्रिया दी है. शाह ने कहा कि राहुल गांधी को भी 1600 करोड़ रुपये इलेक्टोरल बॉन्ड के जरिए मिले हैं. उन्हें बताना चाहिए कि कांग्रेस ने कहां से हफ्ता वसूला है.

सीएनएन न्यूज़18 के राइजिंग भारत समिट-2024 के मंच से अमित शाह ने कांग्रेस को आड़े हाथों लिया. उन्होंने कहा, “राहुल गांधी को भी 1,600 करोड़ मिले हैं. उन्हें बताना चाहिए कि उन्हें वह हफ्ता वसूली कहां से मिली. हम कहते हैं कि यह पारदर्शी दान है, लेकिन अगर वह कहते हैं कि यह वसूली है, तो उन्हें बताना चाहिए कि उन्होंने कहां से वसूली की है.”

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सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर क्या बोले शाह?

गौरतलब है कि सुप्रीम कोर्ट ने इलेक्टोरल बांड को असंवैधानिक करार देते हुए इस पर रोक लगा दी है. जब केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से इस बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा कि वह सुप्रीम कोर्ट के निर्णय का स्वागत करते हैं. शाह ने कहा कि काले धन के प्रभाव को कम करने के लिए इलेक्टोरल बॉन्ड को लाया गया था. इसमें कामयाबी भी मिलीं.

‘एक तरफ कॉन्ट्रैक्ट दिया, दूसरी तरफ से कट लिया’

कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने इलेक्टोरल बॉन्ड को लेकर केंद्र सरकार पर गंभीर आरोप लगाए हैं. उन्होंने कहा कि केंद्रीय जांच एजेंसियां सरकार की वसूली एजेंट बन कर काम कर रही हैं. गांधी ने सोशल मीडिया मंच ‘X’ पर लिखा- “इलेक्टोरल बॉन्ड्स के नाम पर ‘हफ्ता वसूली सरकार’ ने दुनिया का सबसे बड़ा भ्रष्टाचार किया है. कंपनियों से एक्सटोर्शन का यह मॉडल खुद नरेंद्र मोदी का तैयार किया हुआ था. इस ‘आपराधिक खेल’ के नियम स्पष्ट थे: एक तरफ कॉन्ट्रैक्ट दिया, दूसरी तरफ से कट लिया, एक तरफ से रेड की, दूसरी तरफ चंदा लिया.”

उन्होंने आगे लिखा, “ईडी, आईटी, सीबीआई जैसी जांच एजेंसियां नरेंद्र मोदी की ‘वसूली एजेंट’ बन कर काम कर रही हैं. जो कभी देश के संस्थान हुआ करते थे वो अब भाजपा के हथियार के रूप में काम कर रहे हैं. भारतीय मीडिया इस स्थिति में नहीं है कि वह इलेक्टोरल बॉन्ड की सच्चाई जनता को बता सके, इसलिए आपको खुद ही भाजपा का असली चेहरा पहचानना होगा.सरकारी तंत्र को पूरी तरह संगठित भ्रष्टाचार में झोंक देने वाले नरेंद्र मोदी देश के पहले प्रधानमंत्री हैं.”

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