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MP News: सीएम हेल्पलाइन में किसानों की 1400 शिकायतें लंबित, नहर से सिंचाई के लिए पानी ना मिलना अहम मुद्दा

MP Water Resources Department

वल्लभ भवन, भोपाल


MP farmers protest: मध्य प्रदेश में भले ही सरकार किसानों की आय बढ़ाने की कोशिश में हर योजना को लागू करने में जुटी है. लेकिन सरकार की मंशा के मुताबिक किसानों को फायदा नहीं मिल रहा है. जल संसाधन विभाग के कर्मचारी किसानों की समस्या को अफसरों तक पहुंचने से रोक रहे हैं. प्रदेश भर से जल संसाधन विभाग तक करीब 4 हजार से अधिक शिकायत पहुंची है.

1400 शिकायतों को रोका गया

इन शिकायतों की फेहरिश्त में सबसे ज्यादा पानी न मिलने की शिकायतें दर्ज कराई गई है. सबसे ज्यादा राजगढ़ जिले के किसानों ने पानी की समस्या के बारे में शिकायतें की है इन शिकायतों के निराकरण करने की बात तो दूर है. एल-1 स्तर पर ही करीब 1400 शिकायतों को रोका गया है. यही कारण है कि किसानों की समस्या अफसरों तक नहीं पहुंच पा रही है . जिसकी वजह से किसानों के साथ – साथ सीएम हेल्पलाइन में दर्ज शिकायतों की पेंडेंसी भी बढ़ रही है. बढ़ती हुई शिकायतों के निराकरण के लिए प्रीसिंपल इंजीनियर ने अफसरों को शिकायतों के निराकरण करने के लिए निर्देश दिए हैं.

ईएनसी जल संंसाधन विभाग के अफसरों को निर्देश दिए हैं कि शिकायतों को समयसीमा के भीतर निराकरण किया जाए. इसके साथ ही एल-1 स्तर पर शिकायतों का निराकरण नहीं हो रहा है तो उन्हें सीनियर अफसरों तक भेजा जाए, जिससे शिकायतों की पेंडेंसी कम हो सके.

इन जिलों से सबसे ज्यादा शिकायतें

जल संसाधन विभाग में सबसे ज्यादा शिकायतें राजगढ़, इंदौर, मंदसौर, टीकमगढ़, शिवपुरी, रीवा, विदिशा, छतरपुर, ग्वालियर, मंडला, शहडोल से आई है. वहीं झाबुआ, मैहर, बुरहानपुर, अनूपपुर, डिंडौरी से काफी कम शिकायतें सीएम हेल्पलाइन में पहुंची है. ईएनसी ने आदेश में यह भी लिखा है कि यदि शिकायत का निराकरण नहीं किया जा सकता है, तो उन्हें निरस्त कर दिया जाए लेकिन उसका कारण भी बताया जाए फिर शिकायतों को फोर्सक्लोज किया जाए.

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इन मामलों की शिकायतें पहुंची

विभाग के पास कर्मचारी अधिकारी ने एरियर, पीएफ, ग्रेच्युटी से जुड़ी 96 शिकायतें की है. भू-अर्जन और पुनर्वास से जुड़ी हुई 223, सिंचाई के लिए पानी न पहुंचनी की 1451, जबरन जल अधिग्रहण की 100, गुणवत्ता में कमी 333, सिंचाई के लिए अनुमति न मिलने से जुडी 638, नहर की साफ सफाई संबंधी 399, नहर में पानी न छोड़ने और बंद करवाने संबंधी 399 शिकायतें विभाग तक पहुंची है.

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