MP News: मध्य प्रदेश में लोकसभा चुनाव से पहले कांग्रेस को बड़ा झटका लगा है. चुनाव से पहले कांग्रेस के सीनियर नेता सहित कई नेताओं को केंद्रीय जांच एजेंसी का सामना करना होगा. प्रदेश के 50 से अधिक नेताओं को इनकम टैक्स डिपार्टमेंट ने नोटिस भेजा है. नोटिस में नेताओं को 13 फरवरी को दिल्ली तलब किया है. आयकर विभाग ने वर्ष 2014 से लेकर 2021 के बीच में वित्तीय लेनदेन के सभी कागज लेकर आने के निर्देश दिए हैं.
पिछले 7 साल की लेनदेन को लेकर पड़ताल
नोटिस में खास तौर पर यह भी कहा गया है कि जब तक पूछताछ चलेगी कोई भी नेता आयकर विभाग के दफ्तर से बाहर नहीं निकलेगा. बता दें कि पिछले 7 साल की लेनदेन को लेकर जांच एजेंसियां नेताओं के बैंक रिकॉर्ड की पड़ताल कर रही है. सूत्रों के अनुसार मिली जानकारी के अनुसार हाल में विधानसभा चुनाव लड़ चुके अधिकांश नेताओं को नोटिस जारी हुआ है. आयकर विभाग ने सभी नेताओं को अलग-अलग नोटिस भेजा है.
नेताओं के नाम नहीं आए सामने
अभी तक यह स्पष्ट नहीं हो पाया है कि आयकर विभाग ने कौन-कौन से नेताओं को नोटिस मिला है. कांग्रेस से जुड़े सूत्रों ने दावा किया है कि कुछ नेता विधानसभा के बाद लोकसभा का चुनाव भी लड़ने की तैयारी में हैं. इन नेताओं को भी इनकम टैक्स की ओर से नोटिस मिला है. जानकारी के लिए बता दें कि हाल में विधानसभा चुनाव में कांग्रेस मध्य प्रदेश में हार चुकी है. अब लोकसभा चुनाव से पहले जांच एजेंसियों के दायरे में पार्टी की कई बड़े नेता भी आ चुके हैं. ऐसे में कांग्रेस के पास लोकसभा चुनाव से पहले एक मुद्दा भी है कि चुनाव से पहले बीजेपी, जांच एजेंसी के जरिए करने धमकाने का काम कर रही है.
कांग्रेस की आई प्रतिक्रिया
वहीं इनकम टैक्स के नोटिस मिलने के मामले में कांग्रेस ने भी स्पष्टीकरण जारी किया है. कांग्रेस के सीनियर नेताओं ने कहा कि पार्टी ने चुनाव लड़ने के लिए नेताओं को फंडिंग की थी. पार्टी की ओर से उन्हें चुनाव लड़ने के लिए पैसा दिया गया था. इस मामले की जांच पहले से ही इनकम टैक्स विभाग कर रहा है, जिन नेताओं को पार्टी की ओर से पैसा दिया गया, उन्हें खर्च संबंधी विषय को लेकर बुलाया गया है. साथ ही यह भी कहा है कि अगर तय तारीख पर नेता नहीं आते हैं, तो उन पर ₹10000 का जुर्माना भी लगाया जाएगा. खास बात है कि मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री की चुनाव लड़ चुके हैं. उनके प्रस्तावक को भी इनकम टैक्स की ओर से नोटिस दिया गया है.