MP News: मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कारगिल विजय दिवस (26 जुलाई को) पर प्रदेश में अग्निवीर जवानों को पुलिस और सशस्त्र बलों की भर्ती में आरक्षण देने की घोषणा की थी . मुख्यमंत्री की घोषणा को एक महीना होने को है, लेकिन अब तक सरकार यह तय नहीं कर पाई है कि अग्निवीरों को कितना आरक्षण दिया जाएगा। मुख्यमंत्री सचिवालय की ओर से अब तक सामान्य प्रशासन विभाग (जीएडी) को इस संबंध में निर्देश प्राप्त नहीं हुए हैं कि अग्निवीरों को कितने प्रतिशत आरक्षण दिया जाना है। इस कारण जीएडी भर्ती के नियम बनाने की तैयारी शुरू नहीं कर पाया है.
जीएडी के अधिकारियों का कहना है कि सीएम सचिवालय से इस संबंध निर्देश मिलने के बाद ही भर्ती नियम बनाए जाएंगे. कारिगल विजय दिवस पर सीएम डॉ. यादव ने कहा था, अग्निवीर जवानों को मप्र में पुलिस और सशस्त्र बलों की भर्ती में आरक्षण दिया जाएगा. अग्निवीर जवानों की योजना सच्चे अर्थों में सेना के आधुनिकीकरण के साथ योग्य सैनिकों की भर्ती के अलावा वैश्विक स्तर पर सेना को युवा बनाने की योजना है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कारगिल दिवस पर जो संकल्प लिया है, उसका पूर्णतः अनुसरण करते हुए प्रदेश सरकार उनकी भावनाओं के साथ कदम से कदम मिलाकर चलेगी.
मंत्रालय के सूत्रों का कहना है कि सीएम सचिवालय और गृह विभाग के अधिकारी पुलिस व सशस्त्र बलों की भर्ती में अग्निवीरों को कितने प्रतिशत आरक्षण दिया जाए, इस पर विचार मंथन कर रहे हैं. इसके लिए अन्य राज्यों में अग्निवीरों को लागू की गई आरक्षण व्यवस्था का अध्ययन भी किया जा रहा है. मप्र सरकार हरियाणा, ओडिशा व छत्तीसगढ़ सरकार की ओर से अग्निवीरों के लिए आरक्षण के संबंध में की गई घोषणाओं और इस संबंध में लिए निर्णय के आधार पर अग्निवीरों को पुलिस व सशस्त्र बल भर्ती में अतिरिक्त लाभ भी दे सकती है.
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हरियाणा और ओडिशा में 10-10 प्रतिशत आरक्षण मिलेगा
हरियाणा और ओडिशा की भाजपा सरकारों ने अग्निवीरों को पुलिस भर्ती में आरक्षण देने का निर्णय लिया है. दोनों ही राज्यों में अग्निवीरों को पुलिस भर्ती में 10-10 प्रतिशत आरक्षण दिया जाएगा. हरियाणा सरकार ने तय किया है जो अग्निवीर 4 साल देश सेवा के बाद खुद का बिजनेस शुरू करना चाहेगा, उसे राज्य सरकार 5 लाख तक का बिना ब्याज लोन देगी. इसके अलावा उप्र, उत्तराखंड, राजस्थान, गुजरात और छत्तीसगढ़ की सरकारों ने भी कारगिल विजय दिवस पर अग्निवीरों को आरक्षण देने की घोषणा की थी.
सचिवालय से निर्देश मिलने का इंताजर
राज्य सरकारें इसलिए दे रहीं अग्निवीरों को आरक्षण केंद्र सरकार ने वर्ष 2022 में अग्निपथ योजना लॉन्च की थी. अग्निपथ योजना में साढ़े 17 साल से 23 साल की उम्र के बीच के युवा शामिल किए जाते हैं. योजना में युवाओं को 4 साल तक नौकरी का मौका मिलता है. इसके बाद अग्निवीर रिटायर्ड हो जाते हैं. रिटायर्ड होने के बाद अग्निवीरों का क्या होगा, इसको लेकर योजना की शुरुआत से सवाल उठते रहे हैं. अग्निवीरों का भविष्य सुरक्षित रहे और अधिक से अधिक युवा अग्निवीर बनने के लिए प्रेरित हों, इसलिए राज्य सरकारें उन्हें पुलिस व सशस्त्र बल में आरक्षण दे रही हैं.