MP News: इंदौर के पीपल्याहाना मार्ग पर स्थित 200 साल पुराने नागेश्वर महादेव हनुमान मंदिर में हर साल नागपंचमी के अवसर पर एक विशेष और अद्भुत आयोजन होता है. इस मंदिर की प्रसिद्धि न केवल इसकी प्राचीनता के कारण है, बल्कि यहां होने वाले चमत्कारी घटनाओं के लिए भी है.
मान्यता है कि नागपंचमी के दिन इस मंदिर में नाग और नागिन का दर्शन होता है. इस दिन यहां विशेष धार्मिक अनुष्ठान आयोजित किए जाते हैं, जिनमें सुबह कथा-भागवत, शाम को महाआरती-पूजन, दुग्ध से महाअभिषेक और भजन संध्या शामिल होती है.
यह है धार्मिक मान्यता
नागपंचमी के दिन मंदिर में श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ती है. यहां आने वाले भक्तों का मानना है कि इस दिन नाग और नागिन का दर्शन मात्र से उनकी सभी इच्छाएं पूरी होती हैं. मंदिर के इतिहास से जुड़ी एक दिलचस्प घटना यह भी है कि अंग्रेजों के शासनकाल में इस मंदिर की जमीन को अंग्रेजों ने अपने कब्जे में लेना चाहा, लेकिन तब सैकड़ों नाग-नागिन मंदिर के परिसर में प्रकट हो गए और अंग्रेजों को भागना पड़ा. इस घटना के बाद से इस मंदिर की आस्था और भी गहरी हो गई.
नागपंचमी पर रहता है मेले जैसा माहौल
मंदिर के व्यवस्थापक, पंडित श्याम शर्मा, बताते हैं कि नागपंचमी के दिन यहां भगवान को छप्पन भोग अर्पित किया जाता है. सुबह से ही यहां पूजा-अर्चना का सिलसिला शुरू हो जाता है, जो देर रात तक चलता है. इस दिन मंदिर परिसर में मेले जैसा माहौल रहता है और इंदौर के अलावा महाराष्ट्र, दिल्ली समेत अन्य प्रदेशों से भी भारी संख्या में भक्त यहां दर्शन के लिए आते हैं. लोगों की मान्यता है कि इस मंदिर में नाग-नागिन का जोड़ा प्रतिदिन आता है और किसी न किसी को दर्शन भी जरूर होते हैं. इस प्रकार, नागेश्वर महादेव हनुमान मंदिर में नागपंचमी का पर्व एक अद्वितीय धार्मिक आयोजन के रूप में मनाया जाता है, जो आस्था और विश्वास का प्रतीक है.