CBI Raid In CG: कौन हैं वो 5 अधिकारी जिनके ठिकानों पर हुई छापेमारी, महादेव सट्टा एप घोटाले से जुड़े हैं तार
इन 5 अधिकारियों के ठिकानों पर रेड
CBI Raid In CG: छत्तीसगढ़ के पूर्व CM भूपेश बघेल (Former CM Bhupesh Baghel) के घर पर CBI के अधिकारियों ने छापा मारा है. इसके अलावा 5 अधिकारियों के दरवाजे पर CBI की टीम पहुंची. इन अधिकारियों में पूर्व SP अभिषेक पल्लव, अनिल टुटेजा,आरिफ शेख, आनंद छाबड़ा और विनोद वर्मा शामिल है. वहीं पूर्व सीएम भूपेश बघेल, नेताओं और अधिकारियों के ठिकानों पर यह कार्रवाई महादेव सट्टा एप मामले से जुड़ी है. आइए जानते है ये 5 अधिकारी कौन है?
इन 5 अधिकारियों के घर हुई छापेमारी
CBI के अधिकारियों ने पूर्व CM भूपेश बघेल (Former CM Bhupesh Baghel) के घर पर छापा मारा है. इसके अलावा 5 अधिकारियों पूर्व SP अभिषेक पल्लव, अनिल टुटेजा,आरिफ शेख, आनंद छाबड़ा और विनोद वर्मा के ठिकानों पर भी दबिश दी है. CBI महादेव सट्टा एप घोटाला मामले को लेकर कार्रवाई कर रही है.
अभिषेक पल्लव, पूर्व एसपी, दुर्ग
दुर्ग के पूर्व एसपी अभिषेक पल्लव 2013 बैच के आईपीएस अधिकारी है. वो कबीरधाम जिले के पुलिस अधीक्षक है. जिनकी नक्सल विरोधी अभियानों में अहम भूमिका रही है.
अनिल टुटेजा, पूर्व IAS
पूर्व IAS अनिल टुटेजा को 2024 में शराब घोटाले में गिरफ्तार किया गया है. वहीं उनके बेटे से भी मामले में पूछताछ हो चुकी है. उनपर डिस्टिलर्स से रिश्वत लेने का आरोप है. वो 2023 में IAS के पद से रिटायर हुए थे.
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आरिफ शेख, IPS अधिकारी
IPS आरिफ शेख 2005 बैच के आईपीएस अफसर है. जो रायपुर, बिलासपुर जैसे जिलों के SSP रह चुके है. ये एंटी करप्शन ब्यूरो के प्रमुख भी रहे हैं.
विनोद वर्मा, भूपेश बघेल करीबी
विनोद वर्मा पूर्व सीएम भूपेश बघेल के करीबी है. विनोद वर्मा सीडी कांड मामले में आरोपी भी है. और पूर्व सीएम के सलाहकार रहे है.
आनंद छाबड़ा, IPS
IPS आनंद छाबड़ा 2001 बैच के IPS अधिकारी है. जो दो बार छत्तीसगढ़ के इंटेलिजेंस चीफ रहे हैं. आनंद छाबड़ा पंजाब राज्य के रहने वाले हैं। एमबीबीएस की डिग्री प्राप्त करने के बाद यूपीएससी परीक्षा पास आईपीएस के लिए सेलेक्ट हुए. आनंद छाबड़ा महासमुंद, दुर्ग, रायगढ़, जांजगीर, चांपा, कवर्धा एसपी रहे हैं.
महादेव बेटिंग ऐप घोटाले से जुड़े है तार
CBI ने आज महादेव बेटिंग ऐप घोटाला मामले में कार्रवाई की. बता दें कि छत्तीसगढ़ सरकार ने अगस्त 2024 में महादेव बेटिंग ऐप घोटाले की जांच आधिकारिक तौर पर सीबीआई को सौंप दी थी. ईडी ने पिछले साल जनवरी में इस पूरे मामले की जांच शुरू की थी, जिसके बाद इसका जिम्मा एसीबी और आर्थिक अपराध शाखा (ईओडब्ल्यू) को भी सौंप दिया गया था. इस साल लोकसभा चुनाव की घोषणा से पहले 4 मार्च को एसीबी द्वारा दायर चार्जशीट में भूपेश बघेल को आरोपी बनाया गया था.
क्या है महादेव सट्टा घोटाला ?
महादेव सट्टा एप की जांच अक्टूबर 2022 में शुरू हुई थी. कांग्रेस सरकार के समय ईडी ने जांच शुरू की थी. दुर्ग, रायपुर, बिलासपुर में मामला दर्ज हुआ था. ईडी ने 6 हजार करोड़ के घोटाले का खुलासा किया था. घोटाला धोखाधड़ी के जरिए किया गया है. जनवरी 2024 तक 80 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है. प्रदेश भर में लगभग 600 आरोपियों पर कार्रवाई हुई है. घोटाले के तार दुबई तक जुड़े हैं. घोटाले से बघेल के जुड़े होने के आरोप हैं, बघेल को 508 करोड़ देने का आरोप है.