Chhattisgarh के 5 दिवसीय दौरे पर RSS चीफ मोहन भागवत, आज पर्यावरण से जुड़े लोगों से की चर्चा
Chhattisgarh: राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के पूजनीय सरसंघचालक डॉ मोहन भागवत इन दिनों छत्तीसगढ़ प्रवास पर हैं. 29 दिसंबर को उन्होंने पर्यावरण संवर्धन से जुड़े कार्यों पर कार्यकर्ताओं व अधिकारियों का मार्गदर्शन किया. विश्व भारत की ओर देख रहा है.
मोहन भागवत ने पर्यावरण से जुड़े लोगों से की चर्चा
इस अवसर पर उन्होंने कहा कि भारत की संस्कृति, लोक व्यवहार व यहां की जीवनशैली हज़ारों वर्ष से पर्यावरण अनुकूल रही है. हमारे यहाँ प्रकृति एवं मनुष्य एक दूसरे के पूरक है. हम सह अस्तित्व पर विश्वास करते है. सर्वे भवन्तु सुखिनः का मंत्र इस इसी ध्येय की फलश्रुति है.. इस अवसर पर पूजनीय सरसंघचालक ने कहा, भारत में त्योहार, उत्सव व यहाँ का आध्यात्मिक अधिष्ठान प्रकृति के साथ ही व्यक्त होता है.. उन्होंने कहा, संघ कुछ नहीं करता किन्तु संघ के स्वयंसेवक हर वह कार्य करते हैँ जिसकी समाज में आवश्यकता होती है, पर्यावरण का संरक्षण एवं उसके संवर्धन हेतु हम सभी को आगे आना होगा. इसके लिए सर्वप्रथम हमें स्वयं से प्रारंभ करना होगा. उत्पादन से लेकर उसके वितरण व उपभोग के समय हमें प्रकृति एवं मातृभूमि का ध्यान आना चाहिए.. आज जब पूरी दुनिया जलवायु संकट से जूझ रही है तब भारत की ओर विश्व देख रहा है, क्योंकि भारत ने अपने प्रकृति अनुकूल व्यवहार व परंपराओं से यह प्रमाणिकता अर्जित की है.
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राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ पर्यावरण संरक्षण एवं संवर्धन के प्रति विशेष रूप से सक्रिय है. संघ पर्यावरण संरक्षण को जन-जन तक ले जाने के लिए एक गतिविधि के रूप में उसकी पूरी रचना खड़ी की है.
- पर्यावरण गतिविधि का उद्देश्य विविध कार्यक्रमों और अभियान के जरिए जागरुकता निर्माण करना है. इसमें पेड़, पानी और पॉलीथिन तीन प्रमुख उपक्रम हैं। संघ की पर्यावरण गतिविधि में विभिन्न कार्यविभाग हैं जैसे शिक्षण संस्थान, धार्मिक संस्थान, मातृशक्ति, स्वयंसेवी संस्था, संपर्क एवं प्रचार.
- 10 मार्च 2019 को ग्वालियर में हुई अखिल भारतीय प्रतिनिधि सभा में पर्यावरण गतिविधि की विधिवत घोषणा हुई। समाज के सहयोग से संघ ने पर्यावरण संवर्धन हेतु 30 अगस्त 2020 को प्रकृति वंदन जैसा बड़ा अभियान संचालित किया है.
- पर्यावरण प्रहरी कार्यक्रम के जरिए ऑनलाइन प्रशिक्षण कार्यक्रम संचालित किए जाते हैं. इसमें संकल्प पोर्टल में पर्यावरण संरक्षण के लिए कार्य करने के इच्छुक लोगों का पंजीयन होता है.
- 2021 से प्रति वर्ष पर्यावरण संरक्षण गतिविधि द्वारा राष्ट्रीय छात्र पर्यावरण प्रतियोगिता आयोजित की जा रही है. इसी क्रम में नेशनल एनवायर्मेंट यूथ पार्लियामेंट 2022 का आयोजन किया गया. सायकल यात्रा, विश्व आद्रभूमि दिवस संगोष्ठी जैसे आयोजनों से लोगों के भीतर धरती के स्वास्थ्य के प्रति चेतना जागृत हुई है.
- गतिविधि के प्रमुख कार्य हरित घर, हरित मिलन और हरित संगम. इको मित्रम एप में गतिविधि के बारे मे विस्तार से जानकारी डाली गई है.
- पर्यावरण संरक्षण गतिविधि में केंद्रीय टोली से लेकर जिले तक कार्यकर्ता सक्रिय हैं.
छत्तीसगढ़ में पर्यावरण गतिविधि के कार्य - महाकुंभ प्रयागराज को हरित कुंभ की दृष्टि से एक थैला एक थाली अभियान चलाया गया था. जिसमें पूरे छत्तीसगढ़ प्रांत से 66,160 थैले और थालियां समाज के सहयोग से प्राप्त हुए. जिसमें गतिविधि के जन जन में कुंभ घर घर में कुंभ और कुंभ में कुंभ का उद्देश्य पूर्ण होगा. राष्ट्रीय छात्र पर्यावरण प्रतियोगिता जो पहली से स्नातकोत्तर तक चार स्तरों पर आयोजित की गई . जिसमें प्रदेश के 31856 प्रतिभागि सम्मिलित हुए.
- आगामी समय मे प्रांत के धार्मिक आयोजनो को पॉलिथीन मुक्त करने की योजना है.
- पर्यावरण संरक्षण गतिविधि द्वारा तय सभी कार्यक्रम छत्तीसगढ़ में संचालित किए जा रहे हैं। यहाँ 270 पुलिसकर्मियों एवं उनके अधिकारियों को पर्यावरण संरक्षण का संकल्प दिलाया गया । ऐसे ही एक कार्यक्रम NSS के पूरे प्रदेश के जिला प्रमुखों, इकाई प्रमुखों की कार्यशाला आयोजित की गई जिसमें 210 NSS कार्यक्रम अधिकारियों की उपस्थिति रही.