जब मीडिया के सामने फूट-फूटकर रोने लगे स्टीव स्मिथ, ‘बॉल टैंपरिंग’ के कलंक ने लगभग सब कुछ खत्म कर दिया…

अमूमन स्कैंडल आदमी के व्यक्तित्व को तहस-नहस कर देते हैं. लेकिन, इस स्कैंडल के दौरान लोगों ने देखा कि स्मिथ बतौर इंसान कितने जेनुइन व्यक्ति हैं.
Steve Smith

स्टीव स्मिथ

Steve Smith: मार्च 2018, साउथ अफ्रीका के केपटाऊन में ऑस्ट्रेलिया और दक्षिण अफ्रीका के बीच तीसरा टेस्ट मैच खेला जा रहा था. ऑस्ट्रेलियन टीम की कप्तानी स्टीव स्मिथ कर रहे थे. इसी टेस्ट मैच में एक कलंकित करने वाला कांड हुआ. जिसे नाम दिया गया- “Ball- Tampering”. यानी नियम के खिलाफ जाकर गेंद के साथ छेड़छाड़ करना.

साउथ अफ्रीका के खेल जा रहे टेस्ट मैच के दौरान ऑस्ट्रेलियाई खिलाड़ी कैमरून बैनक्राफ्ट (Cameron Bancroft) सैंड-पेपर से गेंद के एक हिस्से पर रगड़ रहे थे. यह घटना कैमरे में क़ैद हो गई. ICC के नियमों के तहत यह एक गुनाह था. पूछताछ में पता चला कि यह टीम के शीर्ष खिलाड़ियों की प्लानिंग का नतीजा था. जिसमें कप्तान स्टीव स्मिथ (Steve Smith) और उपकप्तान डेविड वॉर्नर (David Warner) भी शामिल थे.

लेकिन, यहाँ आप स्टिव स्मिथ का ईमान देखेंगे. बतौर कप्तान उन्होंने सारे गुनाह बिना देर किए क़बूल कर लिए. पूरी दुनिया ने देखा कि स्मिथ भरी प्रेस कॉन्फ़्रेंस में रो रहे थे. वो गिल्ट (अपराधबोध) से भरे हुए थे. उनका बयान था कि वो इस बात को लेकर भी दुखी हैं कि वो कौन सा चेहरा लेकर अपने माँ-बाप के सामने जाएँगे.

एक साल का लगा था बैन

स्मिथ को ऑस्ट्रेलियन क्रिकेट में एक साल के लिए प्रतिबंधित कर दिया गया. इस दौरान उनके इंटरनेशनल और डोमेस्टिक दोनों फ़ॉर्मेट में खेलने पर प्रतिबंध लगा दिया गया. 2 साल तक के लिए कप्तानी छीन ली गई. यही सज़ा डेविड वॉर्नर को भी मिली.

‘बॉल टैंपरिंग स्कैंडल’ से पहले स्मिथ का रिकॉर्ड उनके करियर के ग्राफ़ को सलामी देने के लिए काफ़ी थे. 2017 तक उन्होंने 20 टेस्ट शतक ठोक डाले थे. 2017-18 के दौरान ऑस्ट्रेलियाई धरती पर खेले गए एशेज (Ashes) सीरीज़ में उनकी टीम ने 4-0 से एकतरफ़ा जीत हासिल की थी. 2014-17 के बीच स्मिथ ने कुल 58 टेस्ट मैच खेले और 5,370 रन बना डाले थे. इसमें उनकी 20 सेंचुरी भी शामिल है.

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अपराधबोध से रो पड़े से स्मिथ

अमूमन स्कैंडल आदमी के व्यक्तित्व (Personality) को तहस-नहस कर देते हैं. लेकिन, इस स्कैंडल के दौरान लोगों ने देखा कि स्मिथ बतौर इंसान कितने जेनुइन व्यक्ति हैं. ऐसा आदमी जो बॉल टैंपरिंग के अपराध में ख़ुद को अपराधबोध से ग्रसित कर ले, वह निश्चित रूप से एक कैरेक्टरवर्दी इंसान ही होगा. शायद स्मिथ के लिए यह एक पहली और आख़िरी शरारत थी. इसके बाद उनका कम-बैक उनके मज़बूत चरित्र को दर्शाने के लिए काफ़ी है.

क्रिकेट में कई ऐसे स्कैंडल सामने आए हैं, जब खिलाड़ियों ने आरोपों को सिरे से ख़ारिज कर दिया. स्मिथ वाहिद ऐसे आदमी थे, जिन्होंने न सिर्फ़ एक बार में आरोप को स्वीकार कर लिया… बल्कि अफ़सोस से भरा उनका मन प्रेस-कॉन्फ्रेंस में आंसू के तौर पर बाहर आ गए. एक व्यक्ति इस बात से पीड़ित था कि उसका नाम ख़राब हो गया और अब वह अपने परिवार को क्या मुँह दिखाएगा. काश! यह शर्म दुनिया में हर किसी को नसीब हो जाए.

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