पहले बिना टिकट रेल यात्रा, फिर सीएम की रेकी, जानें Rekha Gupta पर हमले की आरोपी ने कैसी रची साजिश
रेखा गुप्ता पर हमले की कोशिश
Delhi CM Rekha Gupta: दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता पर बुधवार, 20 अगस्त को सिविल लाइंस स्थित उनके कैंप ऑफिस में ‘जनसुनवाई’ के दौरान एक व्यक्ति ने हमला कर दिया. हमलावर की पहचान राजेश भाई खिमजी भाई सकरिया के रूप में हुई थी. जो गुजरात के राजकोट का निवासी है.
दिल्ली पुलिस और इंटेलिजेंस ब्यूरो (IB) की टीमें आरोपी से पूछताछ कर रही हैं. जांच में पता चला है कि हमलावर ने हमले से पहले मुख्यमंत्री आवास की रेकी की थी और सुनियोजित तरीके से इस घटना को अंजाम दिया.
हमले से पहले सीएम हाउस की रेकी
पुलिस पूछताछ में सामने आया कि 41 वर्षीय राजेश खिमजी, जो पेशे से ऑटोरिक्शा चालक है, वह 17 अगस्त को गुजरात के राजकोट से उज्जैन के लिए निकला था. 18 अगस्त को उसने उज्जैन में महाकाल, काल भैरव और महालक्ष्मी मंदिरों के दर्शन किए. उसी दिन शाम 6:30 बजे उसने बिना टिकट इंदौर-नई दिल्ली एक्सप्रेस ट्रेन पकड़ी और 19 अगस्त को सुबह 6:30 बजे नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पहुंचा. दिल्ली पहुंचने के बाद, उसने करोल बाग के हनुमान मंदिर में हनुमान चालीसा का पाठ किया और मुख्यमंत्री आवास की रेकी की. सीसीटीवी फुटेज में उसे 19 अगस्त को शालीमार बाग स्थित सीएम आवास के आसपास वीडियो बनाते हुए देखा गया.
हमले का घटनाक्रम
20 अगस्त को सुबह करीब 8:15 बजे, ‘जनसुनवाई’ के दौरान राजेश ने शिकायतकर्ता बनकर मुख्यमंत्री के कैंप ऑफिस में प्रवेश किया. उसने पहले रेखा गुप्ता को कुछ कागज दिए, फिर अचानक चिल्लाते हुए उनका हाथ खींचा, बाल पकड़े और थप्पड़ मार दिया. इस धक्का-मुक्की में मुख्यमंत्री का सिर टेबल से टकराया, जिससे उनके सिर, कंधे और हाथ में चोटें आईं. मौके पर मौजूद सुरक्षा कर्मियों ने तुरंत उसे काबू में कर लिया और सिविल लाइंस पुलिस स्टेशन ले गए.
आरोपी का आपराधिक इतिहास
जांच में पता चला कि राजेश खिमजी का आपराधिक रिकॉर्ड है. राजकोट के भक्तिनगर पुलिस स्टेशन में उसके खिलाफ पांच मामले दर्ज हैं, जिनमें से चार में उसे बरी कर दिया गया, जबकि एक मामला अभी कोर्ट में लंबित है. उसकी मां भानु बेन ने दावा किया कि राजेश मानसिक रूप से अस्थिर है और आवारा कुत्तों के प्रति संवेदनशील है. वह सुप्रीम कोर्ट के आवारा कुत्तों को शेल्टर में शिफ्ट करने के फैसले से नाराज था.
पुलिस और IB की जांच
दिल्ली पुलिस ने भारतीय न्याय संहिता (BNS) की धारा 109(1) (हत्या का प्रयास), 132 (सार्वजनिक सेवक पर हमला), और 221 (सार्वजनिक कार्य में बाधा) के तहत मामला दर्ज किया है. आरोपी को तीस हजारी कोर्ट में पेश किया गया, जहां उसे 5 दिन की पुलिस रिमांड पर भेज दिया गया. दिल्ली पुलिस और IB संयुक्त रूप से इस मामले की गहराई से जांच कर रही हैं. पुलिस ने राजेश के मोबाइल को जब्त कर फॉरेंसिक जांच के लिए भेजा है, जिसमें कई अहम नंबर मिले हैं, जिनसे वह हमले से पहले और बाद में बात करता रहा. दिल्ली पुलिस की एक टीम जल्द ही राजकोट जाकर उसके पृष्ठभूमि और राजनीतिक संबंधों की जांच करेगी.
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सुरक्षा में हुई चूक
इस हमले ने मुख्यमंत्री की Z+ सुरक्षा पर सवाल खड़े किए हैं. दिल्ली पुलिस कमिश्नर ने सुरक्षा चूक की हाई-लेवल जांच शुरू की है, और सीएम आवास के सीसीटीवी फुटेज की जांच की जा रही है. दिल्ली बीजेपी अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने इस घटना की कड़ी निंदा की, इसे लोकतांत्रिक प्रक्रिया पर हमला बताया. दिल्ली सरकार के मंत्री कपिल मिश्रा और मनजिंदर सिंह सिरसा ने इसे राजनीतिक साजिश करार दिया, जबकि AAP नेता और पूर्व सीएम अरविंद केजरीवाल ने भी हमले की निंदा की.