रामलला के आभूषण और वस्त्र कितने हैं खास? जानिए

Ram Lalla: बाल स्वरूप रामलला के आभूषणों के साथ वस्त्र भी बेहद खास तरह से तैयार किए गए हैं.
ram lalla murti

रामलला की मूर्ति

Ram Lalla: 22 जनवरी को अयोध्या में रामलला की प्राण-प्रतिष्ठा का भव्य आयोजन संपन्न हुआ. जैसे ही रामलला की मूर्ति के दर्शन हुए, हर कोई उन्हें देखता ही रह गया. उनकी मूर्ति को 14 बेहद खूबसूरत आभूषण से सुशोभित किया गया. रामलला की प्राण प्रतिष्ठा से पहले उनका श्रृंगार किया गया था. इस खूबसूरत प्रतिमा को और खूबसूरत बनाने के लिए जिन आभूषणों का इस्तेमाल किया गया, उन्हें लखनऊ के हरसहायमल एंड श्यामलाल ज्वेलर्स ने तैयार किया है. जो इंटरनेशनल जेमोलॉजिकल इंस्टीट्यूट से प्रमाणित है. 

आभूषण मेकर्स ने शेयर किया वीडियो

हाल ही में HSJ ज्वेलर्स ने सोशल मीडिया प्लेटफॉम पर आभूषणों का मेकिंग का वीडियो शेयर किया है, जिसमें उनके डिजाइनर्स और आर्टिस्ट्स रामलला के आभूषणों पर रिसर्च करते नजर आ रहे हैं. इन आभूषणों को बनाने के लिए 12 दिनों का समय दिया गया था.  

रामलला का मुकुट

रामलला के सिर पर जो मुकुट सजा है, वो सोने से तैयार किया गया है. इसका वजन करीब 1.7 किलोग्राम का है. पीछे से मुकुट को सहारा देने के लिए 22 कैरेट के सोने को लगाया गया है. इसका वजन करीब आधा किलोग्राम है. यही नहीं 75 कैरेट के हीरे, 135 कैरेट के जाम्बियन पन्ने और 262 कैरेट के माणिक मुकुट की खूबसूरती को चौगुना कर रहे हैं. डिजाइनर्स ने बताया कि मुकुट मानक उन्हें साढ़े चार साल का दिया गया था, जिसके बाद उसे बारीकी से डिजाइन किया गया. खास बात ये है कि मुकुट के केंद्र में सूर्य नजर आ रहा है. जो सूर्यवंशी लोगों का प्रतीक है, जो राम भगवान के वंश को दर्शाता है.

रामलला का टीका

श्रीराम के माथे पर जो तिलक सुशोभित किया गया है वो दूर से ही नजर आता है. ज्वेलर्स ने अपने वीडियो में बताया है कि इस तिलक को बनाने में सोने का इस्तेमाल हुआ है. इसका वजन 16 ग्राम है, जिसमें सेंटर में 3 कैरेट का नेचुरल डायमंड लगा है.

रामलला की अंगूठी

रामलला पन्ना की अंगूठी पहने नजर आ रहे हैं. जिसका वजन 65 ग्राम है. इस अंगूठी में लगभग 4 कैरेट हीरे और 33 कैरेट पन्ना जड़ा है. अंगूठी के सेंटर में जाम्बियन पन्ना लगा है. जो जंगल की जीवंत हरियाली का प्रतीक है. बाएं हाथ के लिए माणिक अंगूठी डिजाइन की गई है.

रामलला का हार

सोने से बने छोटे गोल हार का वजन लगभग 500 ग्राम है. इसमें लगभग 50 कैरेट हीरे, 150 कैरेट माणिक और 380 कैरेट पन्ना लगाया गया है. पंचलड़ा (पांच धागे) का वजन लगभग 660 ग्राम है. इसमें 80 कैरेट हीरे, 60 कैरेट पोल्की और 550 कैरेट पन्ना लगाया गया है. विजयमाला की बात करें तो इसका वजन लगभग 2 किलो है.

रामलला का कमरबंद

कमरबंद का वजन लगभग 0.75 किलोग्राम है. जो पीले सोने से तैयार किया गया है. इसमें 70 कैरेट हीरे के साथ लगभग 850 कैरेट माणिक और पन्ना लगा है. यह अटूट ताकत, शाश्वत गुण, साहस, जुनून, ज्ञान, पवित्रता और लालित्य का प्रतीक है.

बाजूबंद

दोनों बाजूबंद का वजन लगभग 400 ग्राम है. यह 22 कैरेट सोने से बनाया गया है. कंगन या यूं कहें चूड़ियों का वजन 850 ग्राम है, जिसमें लगभग 100 कैरेट के हीरे जड़े हुए हैं. इसमें 320 कैरेट माणिक और पन्ना भी लगाया गया है.

पग कुड़ा

पग कुड़ा को हम पांव की तोरण भी कहते हैं. इसका वजन लगभग 400 ग्राम है, यह हीरे और माणिक से जुड़ा हुआ है. पैरौं का एक अन्य आभूषण पायल, 22 कैरेट सोने से बनाई गई है.

चांदी के खिलौने

रामलला के लिए चांदी का घोड़ा, हाथी और ऊंट झुनझुना लट्टू बनाए गए हैं.

धनुष बाण

बाल रूप है लेकिन धनुर्धारी, तो बाल रूप भगवान राम के धनुष बाण भी हैं. भगवान राम के धनुष बाण 24 कैरेट के 1 किलो सोने के धनुष बाण बनाए गए हैं.

कई जगहों से लिया सुझाव

रामलला के आभूषणों का निर्माण अध्यात्म रामायण, श्रीमद् वाल्मीकि रामायण, श्रीरामचरितमानस और आलवन्दार स्तोत्र के अध्ययन और उनमें वर्णित श्रीराम की शास्त्रसम्मत शोभा के अनुरूप शोध और अध्ययन के बाद किया गया है. एचएस ज्वेलर्स ने कहा है कि भगवान राम के आभूषण बनाने में 15 किलो सोना और करीब 18 हजार हीरे और पन्ना का इस्तेमाल किया गया है. और जब इनके डिजाइन किए गहनों से श्रीराम लला का श्रृंगार किया गया. उनका अलौकिक रूप निखरकर सामाने आया है. जिसे देखकर हर कोई मंत्रमुग्ध हो गया.

खास है रामलला के वस्त्र

बाल स्वरूप रामलला के आभूषणों के साथ वस्त्र भी बेहद खास तरह से तैयार किए गए हैं. बनारसी वस्त्र के पीतांबर धोती तथा लाल रंग के पटुके/अंगवस्त्रम में सुशोभित हैं. इन वस्त्रों पर शुद्ध स्वर्ण की जरी और तारों का काम किया गया है जिसमें वैष्णव मंगल चिन्ह-शंख,पद्म,चक्र और मयूर अंकित है इन वस्त्रों का निर्माण श्रीअयोध्या धाम में रहकर दिल्ली के वस्त्र निर्माता मनीष त्रिपाठी ने किया है उन्हें राम मंदिर ट्रस्ट से जो मानक मिले थे उन्हें के अनुरूप वस्त्र तैयार किए गए.

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