लोकसभा में बढ़ी विपक्ष की ताकत, 10 सालों बाद मिलेगा नेता प्रतिपक्ष, जानिए आखिर क्यों खाली रहा यह पद

नेता प्रतिपक्ष बनने के लिए किसी भी दल के पास लोकसभा की कुल सीटों की 10 प्रतिशत सीटें होनी चाहिए. यानी 543 में से 54 सीटों की आवश्यकता होती है.

दस साल बाद मिलेगा नेता प्रतिपक्ष

Parliament Session: संसद सत्र 24 जून से शुरू होकर 3 जुलाई तक चलेगा. इस बार सभी की निगाहें संसद के निचले सदन यानी लोकसभा पर टिकी हैं. दरअसल, निचले सदन को दस साल बाद नेता प्रतिपक्ष मिलने वाला है. साथ ही डिप्टी स्पीकर भी मिल सकता है. बता दें कि 17वीं लोकसभा को पूरे कार्यकाल के दौरान डिप्टी स्पीकर नहीं मिला था.

इतने सालों से क्यों खाली रहा नेता प्रतिपक्ष का पद?

लोकसभा में पिछले दस सालों से नेता प्रतिपक्ष का पद खाली है. आखिर क्यों? क्या है कारण? जैसे कई सवाल सभी के मन में उठ रहे हैं. आइए जानते हैं लोकसभा को मोदी सरकार के दोनों कार्यकाल में नेता प्रतिपक्ष क्यों नहीं मिला. दरअसल, नेता प्रतिपक्ष बनने के लिए किसी भी दल के पास लोकसभा की कुल सीटों की दस प्रतिशत सीटें होनी चाहिए. यानी 543 में से 54 सीटों की आवश्यकता होती है.

मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस को 2014 में 44 सीटें और 2019 में 52 सीटें मिली थीं. हालांकि लोकसभा चुनाव 2024 में कांग्रेस को 99 सीटें मिली हैं. मतलब इस बार किसी कांग्रेस सांसद को नेता प्रतिपक्ष बनने का मौका मिलेगा. रेस में सबसे आगे नाम राहुल गांधी का चल रहा है.

लोकसभा को डिप्टी स्पीकर भी मिलेगा!

17वीं लोकसभा को डिप्टी स्पीकर नहीं मिला था. डिप्टी स्पीकर का पद आमतौर पर विपक्ष के पास जाता है. निचले सदन में ताकत बढ़ने के बाद विपक्षी इंडिया ब्लॉक ने कहा कि वे इस बात के लिए दबाव बनाएंगे कि 18वीं लोकसभा में डिप्टी स्पीकर का पद खाली न रहे.

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लोकसभा में बढ़ी विपक्ष की ताकत

लोकसभा चुनाव 2024 में विपक्ष ने शानदार प्रदर्शन किया है. कांग्रेस को 99, समाजवादी पार्टी को 37, तृणमूल कांग्रेस को 29, द्रविड़ मुनेत्र कड़गम को 22, शिवेसना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) को 9,  राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (शरद पवार) को 8, राष्ट्रीय जनता दल को 4, इंडियन यूनियन मुस्लिम लीग को 3, आम आदमी पार्टी को 3 और झारखण्ड मुक्ति मोर्चा को 3 सीटें मिली हैं.

24 जून से शुरू होगा संसद सत्र

संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने बुधवार को संसद सत्र की जानकारी दी है. उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा, “18वीं लोकसभा का पहला सत्र 24 जून से 3 जुलाई तक नवनिर्वाचित सदस्यों के शपथ/प्रतिज्ञान, स्पीकर के चुनाव, राष्ट्रपति के अभिभाषण और उस पर चर्चा के लिए बुलाया जा रहा है. राज्यसभा का 264वां सत्र 27 जून को शुरू होगा और 3 जुलाई को समाप्त होगा.”

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