K Kavitha Bail: सुप्रीम कोर्ट का कहना है कि सबूत जुटा लिए गए हैं लेकिन ट्रायल में समय लगेगा. जमानत देने से इनकार करने का हाईकोर्ट का आदेश बेल के कानूनी सिद्धांतों को नकारता है.
Nabanna Protest: नबन्ना प्रोटेस्ट के लिए निकले छात्रों ने पुलिस की बैरिकेडिंग तोड़ दी है. इस के बाद पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को तितर-बितर करने के लिए लाठीचार्ज किया है. इस दौरान पत्थरबाजी भी हुई है.
Monkeypox In India: सीमेंस हेल्थिनियर्स द्वारा IMDX मंकीपॉक्स डिटेक्शन आरटी-पीसीआर टेस्ट को केंद्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन (CDSCO) से मैन्युफैचर की मंजूरी मिल गई है.
CM Mamata Banerjee: गौरतलब है कि पश्चिम बंगाल सचिवालय पहले रायटर्स बिल्डिंग में हुआ करता था. लेकिन जब 2011 में ममता बनर्जी सत्ता में आई तो उन्होंने हावड़ा में हुबली नदी के किनारे बिल्डिंग को सचिवालय बनाया और उसे नबान्ना नाम दिया.
Kolkata Rape-Murder Case: छात्रों के अभियान को देखते हुए कोलकाता पुलिस ने सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए हैं और शहर को छावनी में तब्दील कर दिया गया है. इस अभियान को रोकने के लिए 6000 से अधिक पुलिसकर्मी तैनात किए गए हैं और 19 पॉइंट पर बैरिकेड लगाए गए हैं.
Ratnagiri Nurse Rape Case: पुलिस के मुताबिक नर्सिंग छात्रा रत्नागिरी के चंपक मैदान में बेहोशी की हालत में मिली है. पुलिस ने युवती को इलाज के लिए जिला अस्पताल में भर्ती कराया है. इस घटना के बाद रत्नागिरी में माहौल तनावपूर्ण हो गया है. गुस्साई भीड़ ने घटना के विरोध में हंगामा किया है.
Jharkhand: दरअसल, सिन्हा की अगुवाई वाली पार्टी के गठन का फैसला हजारीबाग में अटल विचार मंच की बैठक में लिया गया. जानकारी के मुताबिक हजारीबाग के अटल भवन में अटल विचार मंच की बैठक हुई. प्रोफेसर सुरेंद्र सिन्हा की अध्यक्षता में हुई बैठक में देश के विदेश और वित्त मंत्री रह चुके यशवंत सिन्हा भी मौजूद थे.
एनडब्ल्यूआर के CPRO शशि किरण ने बताया कि इंजन का कैटल गार्ड सीमेंट स्लैब से टकरा गया, जिससे ट्रेन 8 मिनट तक रुकी रही. हालांकि, इस घटना में कोई घायल नहीं हुआ.
Champai Soren: पिछले हफ्ते की शुरुआत में चम्पाई सोरेन ने कहा था कि वे राजनीति नहीं छोड़ेंगे. उन्होंने कहा कि मैंने तीन ऑप्शन बताए थे- रिटायरमेंट, संगठन या दोस्त.
Shagun Parihar: अनिल परिहार किश्तवाड़ की राजनीति में तब भी एक्टिव थे, जब आतंकवाद जम्मू-कश्मीर में चरम-सीमा पर था. बीजेपी के नेताओं को जब नब्बे के दशक में जब डोडा बचाओ आंदोलन के दौरान गिरफ्तार किया गया था, तब भी अनिल परिहार बीजेपी से जुड़े हुए थे.