CG GK: छत्तीसगढ़ के इस शहर में है विश्व की पहली नाट्यशाला, राम-सीता के वनवास काल से जुड़ी है कहानी

CG GK: छत्तीसगढ़ अपनी गोद में प्राचीन संस्कृति और कई धरोहर समेटे हुए है, जो देश-विदेश में भी प्रसिद्ध है, लेकिन आपको पता है कि विश्व की पहली नाट्यशाला सरगुजा संभाग में है. बता दें कि सरगुजा के उदयपुर कस्बे से 3 किलोमीटर अंदर एक जगह को रामगढ़ कहा जाता है. रामगढ़ में प्राचीन गुफाएं हैं. शोधकर्ताओं ने इन गुफाओं में से एक को एशिया की सबसे प्राचीन नाट्यशाला माना है.
CG News

सीताबेंगरा

CG GK: छत्तीसगढ़ अपनी गोद में प्राचीन संस्कृति और कई धरोहर समेटे हुए है, जो देश-विदेश में भी प्रसिद्ध है, लेकिन आपको पता है कि विश्व की पहली नाट्यशाला सरगुजा संभाग में है. बता दें कि सरगुजा के उदयपुर कस्बे से 3 किलोमीटर अंदर एक जगह को रामगढ़ कहा जाता है. रामगढ़ में प्राचीन गुफाएं हैं. शोधकर्ताओं ने इन गुफाओं में से एक को एशिया की सबसे प्राचीन नाट्यशाला माना है. माना जाता है कि भगवान राम ने अपनी सेना के मनोरंजन के लिए इस नाट्यशाला को बनवाया था.

सीताबेंगरा में था मां सीता का निवास

भगवान राम को छत्तीसगढ़ का भांचा माना जाता है. अपने वनवास के दौरान काफी समय प्रभु श्रीराम ने माता, सीता और लक्ष्मण के साथ दंडकारण्य में बिताएं. माता जानकी भी वनवास के दौरान महलों का सुख त्याग कर वन में अपने पति परमेश्वर श्रीराम के साथ 14 वर्ष बिताएं. इस दौरान प्रभु श्रीराम के पद सरगुजा की धरती पर भी पड़े.यहां के रामगढ़ में श्रीराम ने कुछ समय बिताया.यहां की सीताबेंगरा गुफा को राम का आश्रय माना जाता है. राम, सीता और लक्ष्मण के प्रवास के कारण ही इस गुफा को सीताबेंगरा गुफा दिया गया था.

ये भी पढ़ें- बीजापुर में मोर्चे पर तैनात CRPF के प्रधान आरक्षक ने खुद को मारी गोली, मौके पर हुई मौत

राम ने अपनी सेना के मनोरंजन के लिए बनवाई थी नाट्यशाला

रामगढ़ पर्वत के निचले शिखर पर सीताबेंगरा और जोगीमारा की अद्वितीय कलात्मक गुफाएं हैं. भगवान राम के वनवास के दौरान सीताजी ने काफी समय गुफा मे बिताया. इस गुफा को सीताबेंगरा के नाम से प्रसिद्धि मिली. इन्हीं गुफाओं को दुनिया की पहली रंगशाला कहा जाता है. इसलिए ये कला प्रेमियों का तीर्थ स्थल भी है. जोगीबेंगरा गुफा करीब 44 फुट लंबी और 15 फुट चौड़ी है.1960 में पूना से प्रकाशित ”ए फ्रेश लाइट आन मेघदूत” में रामगढ़ से जुड़ी चीजों को अंकित किया गया है. इस किताब में श्री राम की वनवास स्थली रामगढ़ को माना गया है.

ज़रूर पढ़ें