Monsoon Session 2025: ‘मैं नेता प्रतिपक्ष हूँ, मुझे सदन में बोलने नहीं दिया जाता…’, राहुल गांधी ने फिर लगाया आरोप
राहुल गांधी
Monsoon Session 2025:संसद के मानसून सत्र का आगाज आज से हो गया है. यह आगाज विपक्ष के हंगामे के साथ हुआ. लोकसभा और राज्यसभा में विपक्ष ने ऑपरेशन सिंदूर और अन्य मुद्दों पर चर्चा की मांग की, जिसके चलते दोनों सदनों की कार्यवाही कई बार स्थगित हुई. इस बीच, लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने सरकार पर गंभीर आरोप लगाया कि उन्हें और विपक्षी नेताओं को बोलने की अनुमति नहीं दी जा रही. उन्होंने कहा- टमैं विपक्ष का नेता हूं, मेरा हक है, लेकिन मुझे बोलने नहीं दिया जाता.
राहुल गांधी का सरकार पर निशाना
राहुल गांधी ने संसद भवन के बाहर पत्रकारों से बातचीत में कहा कि सरकार एक नई रणनीति अपना रही है. इस रणनीति के तहत विपक्ष की आवाज को दबाया जा रहा है. उन्होंने संसदीय परंपराओं का हवाला देते हुए कहा- ‘परंपरा कहती है कि अगर सरकार के लोग बोल सकते हैं, तो विपक्ष को भी बोलने का समान अवसर मिलना चाहिए.’ उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि रक्षा मंत्री और अन्य सत्तापक्ष के नेताओं को बोलने की अनुमति दी जाती है, लेकिन विपक्षी नेताओं को चुप कराया जाता है.
#WATCH | After Lok adjourned till 2 pm on the first day of the Monsoon session, LoP Lok Sabha Rahul Gandhi says, "The question is – the Defence Minister is allowed to speak in the House, but Opposition members, including me, who is the LoP, are not allowed to speak…This is a… pic.twitter.com/bD3ELbiEkd
— ANI (@ANI) July 21, 2025
प्रियंका गांधी का समर्थन
कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी वाड्रा ने भी राहुल के आरोपों का समर्थन करते हुए सरकार पर हमला बोला. उन्होंने कहा- ‘अगर सरकार ऑपरेशन सिंदूर जैसे मुद्दों पर चर्चा के लिए तैयार है, तो फिर नेता प्रतिपक्ष को बोलने से क्यों रोका जा रहा है?’ उन्होंने इसे लोकतांत्रिक प्रक्रिया के खिलाफ बताया और विपक्ष को समान अवसर देने की मांग की.
#WATCH | Congress MP Priyanka Gandhi Vadra says, 'If they (the government) are ready for discussion, they should let the Leader of the Opposition speak. He has stood up to speak, so he should be allowed to speak…" pic.twitter.com/5vsv5vi5fb
— ANI (@ANI) July 21, 2025
सत्तापक्ष का पलटवार
सत्तापक्ष की ओर से बीजेपी सांसद जगदंबिका पाल ने विपक्ष के हंगामे पर सवाल उठाए. उन्होंने कहा कि सरकार हर मुद्दे पर चर्चा के लिए तैयार है, फिर भी विपक्ष सदन की कार्यवाही को बाधित कर रहा है, जो जनता के समय और धन की बर्बादी है. शिवसेना (शिंदे गुट) के सांसद नरेश म्हस्के ने भी विपक्ष पर राष्ट्रीय सुरक्षा जैसे संवेदनशील मुद्दों पर बयानबाजी करने का आरोप लगाया. केंद्रीय मंत्री रामदास अठावले ने कहा- ‘राहुल गांधी जो आरोप लगा रहे हैं, वो सही नहीं हैं. सरकार पहलगाम हमले, ऑपरेशन सिंदूर पर चर्चा के लिए तैयार है. जब उसपर चर्चा होगी तो उनको बोलने का अधिकार दिया जाएगा.’
विपक्षी एकता पर जोर
इंडिया गठबंधन की बैठक में राहुल गांधी ने विपक्षी एकता पर बल दिया और कहा कि सरकार को घेरने के लिए सभी विपक्षी दलों को एकजुट होकर सवाल उठाने चाहिए. हालांकि, कुछ विपक्षी नेताओं, जैसे डी राजा, ने राहुल के बयानों की आलोचना की और इसे गठबंधन की रणनीति के लिए नुकसानदायक बताया.
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लोकतंत्र पर सवाल
राहुल गांधी ने अपने बयान में संसद को लोकतंत्र का मंदिर बताते हुए कहा कि विपक्ष की आवाज को दबाना अलोकतांत्रिक है. उन्होंने कहा- ‘सदन में अगर सरकार के लोग बोल सकते हैं, तो हमें भी बोलने की जगह मिलनी चाहिए.’ यह बयान संसद में निष्पक्षता और लोकतांत्रिक मूल्यों की रक्षा की मांग को रेखांकित करता है.