Farmers Protest: किसान आंदोलन पर केंद्र-पजांब सरकार में खींचतान, भगवंत मान के मुख्य सचिव ने दिए सवालों के जवाब
Farmers Protest: केंद्र सरकार के प्रस्ताव को खारिज करने के बाद से किसान दिल्ली कूच करने की जिद पर अड़े हैं. इसके लिए किसान पंजाब-हरियाणा शंभू बॉर्डर पर हाईड्रोलिक क्रेन, जेसीबी व बुलेटप्रूफ पोकलेन जैसी भारी भरकम मशीनें लेकर आए हैं. वहीं किसानों को लेकर केंद्र सरकार और पंजाब सरकार आमने सामने आ गई है. पंजाब सरकार ने केंद्र सरकार की ओर से पूछे गए सवालों का जवाब भेजा है. पंजाब में भगवंत मान सरकार के मुख्य सचिव ने गृह मंत्रालय को भेजे अपने जवाब में केंद्र की ओर से लगाए जा रहे आरोपों को खारिज किया है.
‘किसान आंदोलन करने दिल्ली जा रहे थे’
पंजाब में भगवंत मान सरकार के चीफ सेक्रेटरी ने गृह मंत्रालय के आरोपों को खारिज करते हुए लिखा, ‘यह कहना पूरी तरह गलत है कि राज्य सरकार शंभू और धाबी-गुर्जन बॉर्डर पर लोगों को इकट्ठा होने दे रही है’. इसके साथ ही उन्होंने लिखा कि यह भी कहा है कि किसान आंदोलन करने दिल्ली जा रहे थे, लेकिन किसानों के मार्च पर प्रतिबंध होने के कारण वह पंजाब और हरियाणा के बॉर्डर पर रुके हुए हैं.
पूरे हालात पर लगातार नजर- मुख्य सचिव
गृह मंत्रालय को दिए उत्तर में पंजाब सरकार ने किसानों के साथ हुए केंद्र सरकार की बातचीत में राज्य के मुख्यमंत्री भगवंत मान की भूमिका की भी बात कही. केंद्र को भेजे गए चिट्ठी के अनुसार कहा गया कि पंजाब के मुख्यमंत्री अब तक हुई चार दौर की वार्ता में से तीन में मौजूद रहे. पंजाब के चीफ सेक्रेटरी ने यह भी बताया कि पुलिस की तरफ से डीआईजी रैंक के अधिकारी और पीपीएस ऑफिसर सहित 2000 पुलिसकर्मी शांति व्यवस्था बनाने के लिए लगातार काम कर रहे हैं. उन्होंने दावा किया कि सरकार पूरे हालात पर लगातार नजर रखी हुई है और जरूरत पड़ने पर सभी जरूरी कदम उठाएगी.
‘विरोध की आड़ में उपद्रवियों को खुली छूट दी गई’
बताते चलें कि इससे पहले गृह मंत्रालय ने पंजाब सरकार को खत भेजकर कहा कि पिछले कुछ दिनों से राज्य में बिगड़ती कानून एवं व्यवस्था चिंता का विषय बनती जा रही है. मंत्रालय ने मौजूदा हालात पर पंजाब सरकार से कहा था कि ऐसा लग रहा है कि विरोध की आड़ में उपद्रवियों और कानून तोड़ने वालों को पथराव करने, भीड़ जुटाने और पड़ोसी राज्यों में अशांति-अव्यवस्था फैलाने के स्पष्ट इरादे से दिल्ली से लगे बॉर्डर पर भारी मशीनें ले जाने की खुली छूट दी गई है.
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‘1200 ट्रैक्टर-ट्रॉलियों और विशाल जनसभा करने की अनुमति’
वहीं जानकार सूत्रों की ओर से मिल रही जानकारी के मुताबिक करीब 1200 ट्रैक्टर-ट्रॉलियों, 300 कार, 10 मिनी बस और अन्य छोटे वाहनों के साथ राजपुरा-अंबाला रोड पर स्थित शंभू बॉर्डर पर लगभग 14000 लोगों को इकट्ठा होने की अनुमति मिली थी. इसके साथ ही पंजाब सरकार की ओर से ढाबी-गुजरान बॉर्डर पर भी लगभग 500 ट्रैक्टर ट्रॉलियों के साथ लगभग 4500 व्यक्तियों की विशाल सभा आयोजित करने की अनुमति देने की रिपोर्ट सामने आई थी.