CAA लागू होने से असम के 27 लाख लोगों के अनलॉक होंगे बायोमेट्रिक्स, NRC अपडेट करने के दौरान किए गए थे लॉक
Citizen Amendment Act: केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार ने नागरिकता संशोधन कानून लागू कर दिया है. सीएए को लेकर पक्ष और विपक्ष की बीच सियासी घमासान जारी है. इस बीच असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने कहा है कि CAA लागू होने के साथ ही राष्ट्रीय नागरिक पंजी (NRC) को अपडेट करने के दौरान लॉक किए गए 27 लाख व्यक्तियों ‘बायोमेट्रिक’ को अनलॉक किया जाएगा. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, NRC को अपडेट करने के दौरान असम के 27 लाख लोगों के बायोमेट्रिक्स, लॉक किये गए थे और उन्हें आधार कार्ड नहीं मिल पा रहे थे.
मीडिया से बात करते हुए 27 लाख लोगों के बायोमेट्रिक्स डाटा को अनलॉक करने पर सरमा ने कहा, ‘मैं ऑल असम स्टूडेंट्स यूनियन (AASU) और अन्य स्टेकहोल्डर के साथ इसके प्रोसेस पर चर्चा करूंगा और उम्मीद है कि चुनाव के तुरंत बाद कोई समाधान निकल आएगा.’
बायोमेट्रिक्स ब्लॉक की वजह से लोग थे परेशान
सीएम सरमा ने कहा कि बायोमेट्रिक्स ब्लॉक करने कारण इन 27 लाख लोगों को कई तरह की समस्याएं हो रही थी. इसके कारण इन लोगों को राशन कार्ड नहीं मिल पा रहा था, इसका सात ही इन्हें नौकरियां भी नहीं मिल पा रही थी. सरमा ने कहा कि इस मुद्दे को सरकार की प्रशासनिक मशीनरी में उठाया जाएगा और इसका समाधान निकाला जाएगा. उन्होंने कहा कि पिछले दो वर्षों के दौरान हम CAA के बारे में फैलाए गए संदेह को दूर करने के लिए जमीनी स्तर पर काम कर रहे थे. अब यह स्पष्ट है कि 2014 के बाद आए किसी भी व्यक्ति को भारतीय नागरिकता नहीं दी जाएगी.
आवेदन के आधार पर नागरिकता
असम के सीएम ने यह भी कहा कि वह 100 प्रतिशत आश्वस्त हैं कि CAA के माध्यम से एक भी व्यक्ति असम में नहीं आएगा और केवल उन लोगों को नागरिकता मिलेगी जिन्होंने NRC के लिए आवेदन किया था. मुख्यमंत्री ने स्वीकार किया कि बायोमेट्रिक्स के ब्लॉक होने से राशन कार्ड और रोजगार प्राप्त करने में समस्याएं पैदा हुईं. उन्होंने कहा कि हम इस मसले का जल्द हल करेंगे. उन्होंने लोगों से CAA के मुद्दे पर भावनाओं से नहीं बल्कि ठोस तर्क के आधार पर सोचने-समझने को कहा .
छह लाख लोगों को नागरिकता की उम्मीद
मुख्यमंत्री ने मीडिया को बताया कि हमने NRC प्रक्रिया के जरिए पहले ही डेटा हासिल कर लिया है. जो लोग सूची में शामिल नहीं हैं, उन्हें CAA नहीं तो फॉरेनर्स ट्रिब्यूनल के जरिए नागरिकता मिल जाती.’ मुख्यमंत्री ने आगे कहा कि उन्हें उम्मीद है कि लगभग छह लाख लोगों को नागरिकता मिलेगी.