Chhattisgarh: कोर्ट ने क्यों दिया जिला प्रशासन की छह गाड़ियों को कुर्क करने का निर्देश, जानें वजह
Chhattisgarh News: छत्तीसगढ़ के बिलासपुर जिले के जांजगीर-चाम्पा से बड़ा मामला सामने आया है. कोर्ट ने जिला प्रशासन की 6 गाड़ियों को कुर्क करने का आदेश जारी किया है. पावर प्लांट में जमीन चली गई और प्रशासन ने मुआवजा नहीं दिया है .
एसडीएम की गाड़ी को साथ ले गए
जांजगीर-चाम्पा जिला प्रशासन में उस वक्त हड़कम्प मच गया, जब 1 करोड़ 37 लाख रुपये के मुआवजा देने के एवज में जिला प्रशासन की 6 गाड़ी की कुर्की के लिए कोर्ट से टीम कलेक्टोरेट पहुंची. टीम को यहां केवल 1 गाड़ी मिली, जो जांजगीर एसडीएम की थी, जिसके बाद एसडीएम की गाड़ी को कुर्क किया गया, लेकिन जांजगीर एसडीएम को यह कार्रवाई नागवार गुजरा और खुद अफसर होते हुए भी सरकारी कार्य में बाधा डालते हुए कोर्ट की टीम से दुर्व्यवहार किया गया. इतना ही नहीं, जांजगीर एसडीएम ने कोर्ट की टीम को धमकी तक दे डाली और दस्तावेज में साइन करने से इनकार कर दिया. इसके बाद कोर्ट की टीम, जांजगीर एसडीएम की गाड़ी को साथ ले गई.
कोर्ट से समय मांगा गया
प्रथम जिला सत्र न्यायालय के आदेश के बाद हुई कार्रवाई और जांजगीर एसडीएम की दादागिरी चर्चा में रही. कोर्ट की टीम को ज़िला प्रशासन द्वारा कार्रवाई में सपोर्ट भी नहीं किया गया और खुद अफसर होने के बाद भी एसडीएम ने कोर्ट के आदेश की अवहेलना की. जब अपर कलेक्टर एसपी वैद्य से पूछा गया कि जिला प्रशासन द्वारा टीम को सपोर्ट नहीं किया गया तो उन्होंने साफ इनकार कर दिया और सफाई दी है. अकलतरा क्षेत्र के नरियरा गांव में स्थित एस के महानदी पावर प्लांट में सुरेखा सिंह की जमीन अधिग्रहित की गई थी, लेकिन उन्हें मुआवजा नहीं मिला. इस पर वह कोर्ट चली गई. इसके बाद 1 करोड़ 37 लाख रुपये देने को लेकर प्रथम ज़िला सत्र न्यायालय ने जिला प्रशासन की 6 गाड़ी को कुर्क करने का आदेश दिया था. इसके बाद कोर्ट की टीम कलेक्टोरेट पहुंची थी और जैसे ही कलेक्टर को इसके बारे में जानकारी मिली, फिर हड़कम्प मच गया. इस तरह 2 घंटे तक माहौल गरमा रहा. दौरान कोर्ट की टीम को एसडीएम जांजगीर की गाड़ी मिली, जिसे कोर्ट ले जाया गया. फिलहाल, अपर कलेक्टर एसपी वैद्य ने कहा कि कोर्ट से समय मांगा गया है.
एसडीएम ने कोर्ट से आई टीम को धमकाया
कार्रवाई से नाखुश जांजगीर एसडीएम ने कोर्ट की टीम को ही धमकी दे डाली, यह बड़ा मामला है. अब देखने वाली बात होगी कि इस मामले में कोर्ट क्या संज्ञान लेता है, क्योंकि जांजगीर एसडीएम ने कोर्ट के आदेश की अवहेलना करने की हिमाकत की है.