ग्वालियर में है भारत का तीसरा सबसे बड़ा किला, पत्थरों पर नक्काशी देख रह जाएंगे दंग
Gwalior Fort: मध्य प्रदेश का ये किला भारत का तीसरा सबसे बड़ा किला माना जाता है. इसकी शानदार वास्तुकला हर किसी का दिल जीत लेती है. इसकी ऊंची दीवारें, भव्य दरवाजे इसे एक ऐतिहासिक धरोहर बनाते हैं.
मध्य प्रदेश एक ऐसा राज्य है जो प्राकृतिक सौंदर्य के साथ-साथ ऐतिहासिक धरोहर के लिए भी जाना जाता है.
ग्वालियर किला एक नैसर्गिक चट्टान-टिला पर विराजमान है, जहां से शहर का मनोरम दृश्य दिखाई देता है. यह देश का तीसरा सबसे बड़ा किला है.
विशाल एवं प्राचीन इस किले की दीवारें दो मील लंबी और 35 फुट ऊंची बताई जाती हैं, जो इसकी शक्ति एवं भव्यता का प्रतीक है.
8वीं शताब्दी में बने इस किले में कई राजवंशों का शासन रहा है, जिनमें से तोमर, मुगल, मराठा और सिंधिया प्रमुख शासक रहे हैं.
इस किले का आर्किटेक्चर आज भी लोगों को दंग कर देता है कि बिना किसी आधुनिक मशीनों के इतने जटिल नक्काशी को पत्थरों पर उतारा कैसे गया है.
इस किले की नीली टाइलों और चित्रों वाली दीवारें राजपूत व मुग़ल मिश्रित स्थापत्य कला का अनुपम नमूना हैं.
आपको बता दें कि ग्वालियर किले के भीतर मान मंदिर महल, तेली का मंदिर और गुजरी महल भी शामिल हैं.
जानकारी के अनुसार यह किला सप्ताह के हर दिन सुबह 9:00 बजे से शाम 5:00 बजे तक पर्यटकों के लिए खुला रहता है.
वहीं सैलानियों को दिन के समय इस अद्भुत महल के दर्शन के निर्देश दिए जाते हैं ताकि वे इस महल की अद्भुत नक्काशी को आराम से देख सकें.
शाम के समय किले का प्रकाश-ध्वनि कार्यक्रम पर्यटकों को इतिहास के रंगीन किस्सों व ध्वनि-प्रभावों से मोहित कर देता है.