सचदेवा ने आरोप लगाया कि शीशमहल बंगले की चाबी सौंपने और वापस लेने में आम आदमी पार्टी और पूर्व मुख्यमंत्री के विशेष सचिव प्रवेश रंजन झा के बीच मिलीभगत थी.
Delhi News: आम आदमी पार्टी का कहना है कि कैबिनेट नोट पास होने के बाद बीजेपी विधायक सचिवालय से भागने लगे. लेकिन मंत्री सौरभ भारद्वाज ने उनके पैर पकड़कर रोका.
Odd-Even Rule In Delhi: दिल्ली सरकार का कहना है कि प्रदूषण को कंट्रोल करने के लिए बीते सालों में कई स्तर पर काम किए गए हैं. जिनमें वृक्षारोपण एक अहम पड़ाव है.
Delhi CM Atishi: आतिशी ने कहा,'आज मेरे मन में भरत की व्यथा है. भाजपा ने अरविंद केजरीवाल पर कीचड़ उछालने में कोई कसर नहीं छोड़ी. अरविंद केजरीवाल ने कहा कि जबतक दिल्ली वाले उनकी ईमानदारी साबित नहीं करते वो कुर्सी पर नहीं बैठेंगे और इस्तीफा दे दिया.
इस बंटवारे में कोई बड़ा बदलाव नहीं किया गया है. मनीष सिसोदिया और सत्येंद्र जैन की गिरफ्तारी के बाद सौरभ भारद्वाज और आतिशी को महत्वपूर्ण मंत्रालय सौंपे गए थे, और अब भी उनके पास ये मंत्रालय बने हुए हैं.
कई राजनीतिक विशेषज्ञों का मानना है कि यह तनाव आने वाले दिनों में और बढ़ सकता है, खासकर जब दिल्ली की नई मुख्यमंत्री आतिशी अपनी नीतियों को लेकर नए फैसले लेने की तैयारी कर रही हैं.
आज शाम 4:30 बजे आम आदमी पार्टी की नेत्री आतिशी ने दिल्ली के मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ग्रहण किया. राज निवास में हुए इस समारोह में उनके साथ पांच अन्य मंत्रियों ने भी शपथ ली.
मुकेश अहलावत को दलित समुदाय को साधने के उद्देश्य से कैबिनेट में शामिल किया गया है. हालांकि कुलदीप कुमार भी मंत्री पद के लिए एक संभावित उम्मीदवार थे, लेकिन अहलावत को प्राथमिकता दी गई. नॉर्थ-वेस्ट दिल्लीमें 10 विधानसभा सीटें हैं, जिनमें से 3 दलितों के लिए रिजर्व हैं.
अब जब आतिशी मुख्यमंत्री बनने जा रही हैं, तो सवाल यह उठता है कि क्या उनकी भूमिका सिर्फ एक नाममात्र की होगी? क्या वे केवल एक प्रतीक बनकर रह जाएंगी और असली निर्णय अरविंद केजरीवाल ही लेंगे?
दिल्ली की राजनीति में बीजेपी और कांग्रेस पहले से ही आतिशी के खिलाफ नैरेटिव गढ़ने की कोशिश में जुटे हैं. बीजेपी ने पहले ही बांसुरी स्वराज को दिल्ली में राजनीतिक मोर्चे पर उतारा है. बांसुरी स्वराज, सुषमा स्वराज की बेटी हैं, और उनके राजनीति में आने से दिल्ली की राजनीति में एक नया मोड़ आया है. हालांकि, आतिशी को टारगेट करना विपक्ष के लिए उतना आसान नहीं होगा, क्योंकि वह एक मजबूत महिला नेता के रूप में उभर रही हैं.