एक्सिस माय इंडिया को झारखंड में जेएमएम को बढ़त मिलती दिखाई दे रही हैं. एक्सिस माय इंडिया को झारखंड में एमडीए को 17- 27, इंडी को 49-59 और अन्य को 1-6 सीट मिलती दिखाई दे रही है.
Exit Poll: बुधवार को महाराष्ट्र और झारखंड में विधानसभा चुनाव की वोटिंग समाप्त हो गई. महाराष्ट्र की 288 और झारखंड की 81 विधानसभा सीटों पर हुए चुनाव के नतीजे 23 नवंबर को सामने आएंगे. मगर उससे पहले एग्जिट पोल्स सामने आ चुके हैं.
एनसीपी के अध्यक्ष शरद पवार ने आरोपों को खारिज करते हुए कहा कि आरोप लगाने वाला व्यक्ति पहले कई महीनों तक जेल में रहा है, और ऐसी स्थितियों में झूठे आरोप लगाना सिर्फ बीजेपी ही कर सकती है. उन्होंने बीजेपी के स्तर को लेकर भी कड़ी आलोचना की.
पंकजा मुंडे और अजित पवार के विवाद के बीच, बीजेपी के कुछ नेता इस मुद्दे को उत्तर प्रदेश की राजनीतिक स्थिति से जोड़ते हुए कहते हैं कि योगी आदित्यनाथ का यह बयान उत्तर प्रदेश की विशिष्ट राजनीतिक और सामाजिक स्थिति को ध्यान में रखते हुए दिया गया था.
ऑल इंडिया उलेमा बोर्ड ने उद्धव ठाकरे, शरद पवार, और नाना पटोले को एक पत्र भेजा है, जिसमें 17 प्रमुख मांगों को शामिल किया गया है. पत्र के मुताबिक, अगर महाविकास अघाड़ी इन शर्तों को मानता है, तो बोर्ड उनका समर्थन करेगा और चुनावी प्रचार भी करेगा.
Maharashtra Assembly Election 2024: बीजेपी से निकाले गए नेताओं में धुले जिले से श्रीकांत करर्ले और सोपान पाटील जैसे प्रमुख नाम शामिल हैं. जलगांव शहर से मयूर कापसे और आश्विन सोनवणे को भी निष्कासित किया गया है.
Maharashtra Election: महाराष्ट्र में सोमवार को नामांकन का आखिरी दिन था. शिवसेना उद्धव गुट से जिन 5 बागी नेताओं ने अपना नामांकन भरा था उन्होंने अपना नाम वापस नहीं लिया.
Maharashtra Election: इस बार राज्य में मुकाबला डायरेक्ट महायुति गठबंधन और महाविकाश अघाड़ी के बीच है. जीत के लिए मुंबई की 36 सीटें काफी अहम हैं. मगर इन सीटों पर राज ठाकरे गेम चेंजर का की भूमिका निभा सकते हैं
आरएसएस की योजना है कि राज्यभर में 3 लाख से अधिक छोटी-छोटी बैठकें आयोजित की जाएं. ये बैठकें लोगों के बीच भाजपा के नेतृत्व वाले गठबंधन के प्रति सकारात्मक दृष्टिकोण बनाने का प्रयास करेंगी.
Maharashtra Assembly Election 2024: विधानसभा चुनाव के ऐलान के साथ ही सभी राजनीतिक दल अपने-अपने चुनाव प्रचार में जुट गए. लेकिन कई सीटों पर एक ही नाम के कई उम्मीदवारों के चुनाव लड़ने के कारण वोटर्स में कन्फ्यूजन की स्थिति बन सकती है.