इस भाषा विवाद में राज ठाकरे की महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (MNS) सबसे आगे है. उनकी पार्टी अक्सर दूसरे राज्यों से आए लोगों को मराठी बोलने के लिए धमकाती रही है. उनका मानना है कि महाराष्ट्र में रहने वाले हर किसी को स्थानीय भाषा बोलनी चाहिए.
कांग्रेस नेतृत्व अपने सहयोगी उद्धव को भी नाराज नहीं करना चाहता है. 2024 लोकसभा चुनाव के बाद से इंडिया ब्लॉक पहले से ही बिखरा नजर आ रहा है.
Maharashtra: फडणवीस सरकार ने हिंदी को तीसरी भाषा के रूप में अनिवार्य करने के फैसले पर यू-टर्न ले लिया है. प्रदेश में विपक्ष द्वारा हुए कड़े विरोध के बाद सरकार ने अपने इस निर्णय को रद्द कर दिया है.