Shagun Parihar: अनिल परिहार किश्तवाड़ की राजनीति में तब भी एक्टिव थे, जब आतंकवाद जम्मू-कश्मीर में चरम-सीमा पर था. बीजेपी के नेताओं को जब नब्बे के दशक में जब डोडा बचाओ आंदोलन के दौरान गिरफ्तार किया गया था, तब भी अनिल परिहार बीजेपी से जुड़े हुए थे.