UP News: सीएम योगी आदित्यनाथ का डीपफेक वीडियो हुआ वायरल, यूपी STF ने आरोपी को दबोचा
UP News: लोकसभा चुनाव के बीच दिग्गज नेताओं के एआई जनरेटेड डीपफेक वीडियो तेजी से सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे हैं. पहले केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के एक फेक वीडियो ने देश का सियासी तापमान बढ़ाकर रख दिया. वहीं, अब उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यानाथ का भी ऐसा ही वीडियो वायरल करने का प्रयास किया जा रहा है. इस संबंध में यूपी एसटीएफ ने गुरुवार को एक आरोपी को गिरफ्तार किया है.
उत्तर प्रदेश पुलिस ने बताया कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का एआई जनरेटेड डीपफेक वीडियो सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर अपलोड कर भ्रामक तथ्य फैलाने वाले अभियुक्त श्याम गुप्ता को 2 मई को यूपी एसटीएफ नोएडा यूनीट द्वारा गिरफ्तार किया गया है. वहीं आरोपी के खिलाफ साइबर क्राइम पुलिस स्टेशन नोएडा में मुकदमा 27/24 us 468, 505(2)IPC, 66 ITAct पंजीकृत किया गया है.
क्या है पूरा मामला?
दरअसल, श्याम गुप्ता आरपीएसयू नामक ट्विटर हैंडल ने सीएम योगी आदित्यनाथ का एआई जनरेटेड डीप फेक पोस्ट किया था, जो पुलिस के मुताबिक भ्रामक तथ्य फैलाकर देश विरोधी तत्वों को मजबूत कर रहा था. बता दें कि इस वीडियो में सीएम योगी पुलवामा के शहीद वीर जवानों की पत्नियों का मंगलसूत्र कहा गया कहते नजर आ रहे थे. वहीं, फेक वीडियो को शेयर वालों को यूपी पुलिस ने चेतावनी दी है. पुलिस ने कहा कि सोशल मीडिया पर भ्रामक सूचना प्रसारित करना दंडनीय अपराध है और ऐसा करने वालों के विरुद्ध सख्त वैधानिक कार्रवाई की जाएगी.
माननीय मुख्यमन्त्री उ0प्र0 का AI जेनरेटेड डीप फेक वीडियो सोशल मीडिया पर पोस्ट करने वाले अभियुक्त को @uppstf द्वारा नोएडा से गिरफ्तार किए जाने के सम्बन्ध में अपर पुलिस महानिदेशक कानून व्यवस्था / एसटीएफ़ उत्तरप्रदेश श्री अमिताभ यश की वीडियो बाइट।#UPPolice pic.twitter.com/e9lpkUet0O
— UP POLICE (@Uppolice) May 2, 2024
आरक्षण से जुड़ा अमित शाह का फेक वीडियो हुआ था वायरल
इससे पहले झारखंड कांग्रेस ने बीजेपी के वरिष्ठ नेता और गृह मंत्री अमित शाह का एक फर्जी एडिटेड वीडियो X पर पोस्ट किया था. जिसमें अमित शाह बीजेपी की सरकार पुनः बनने पर ओबीसी और एससी/एसटी आरक्षण को खत्म करने की बात कहते नजर आ रहे थे. हालांकि सच्चाई ये थी कि बीजेपी नेता ने एससी/एसटी और ओबीसी की हिस्सेदारी कम करने के बाद धर्म के आधार पर मुसलमानों को दिए जाने वाले असंवैधानिक आरक्षण को हटाने की बात कही थी.