“किसी की मां ने दूध नहीं पिलाया जो मुसलमानों…”, अखिलेश के सामने अबू आसिम आजमी का बड़ा बयान

अखिलेश यादव ने कहा कि महाराष्ट्र और झारखंड में होने वाले चुनाव देश की राजनीति के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण हैं. उन्होंने कहा कि पिछले चुनाव में बीजेपी ने हरियाणा में जीत हासिल की, लेकिन महाराष्ट्र और झारखंड में इंडिया गठबंधन के सहयोगी दल मिलकर भाजपा को हराने के लिए प्रतिबद्ध हैं.
Maharashtra Election

अबू आसिम आजमी और अखिलेश यादव

Maharashtra Election: समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने हाल ही में महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव को लेकर एक महत्वपूर्ण बयान दिया है, जो राजनीति के गलियारों में काफी चर्चा का विषय बना हुआ है. उन्होंने कहा कि उनकी पार्टी की प्राथमिकता होगी कि ‘इंडी गठबंधन’ एकजुट होकर इस चुनाव में भाग ले. यह बयान तब आया जब महाराष्ट्र में सपा के अध्यक्ष अबू आसिम आजमी ने एक मंच पर मौजूद रहते हुए अपनी बात रखी, जो अब सुर्खियों में है.

आजमी ने कहा, “हमारे पास दो विधायक हैं, लेकिन हमें छह या आठ विधायक चाहिए. जिस दिन अखिलेश भइया के पास आठ विधायक होंगे, उस दिन किसी की हिम्मत नहीं होगी कि मुसलमानों के खिलाफ कुछ कर सके. मैं इस कौम के लिए अपनी जान देने को तैयार हूं, लेकिन किसी के सामने झुकने का सवाल ही नहीं है. किसी की मां ने दूध नहीं पिलाया है. ”

अखिलेश यादव ने क्या कहा?

अखिलेश यादव ने कहा कि महाराष्ट्र और झारखंड में होने वाले चुनाव देश की राजनीति के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण हैं. उन्होंने कहा कि पिछले चुनाव में बीजेपी ने हरियाणा में जीत हासिल की, लेकिन महाराष्ट्र और झारखंड में इंडिया गठबंधन के सहयोगी दल मिलकर भाजपा को हराने के लिए प्रतिबद्ध हैं. उन्होंने महाराष्ट्र सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि यह सरकार “छीनी हुई और डराकर बनाई गई है.” अखिलेश ने कहा, “महाराष्ट्र में महा भ्रष्टाचार फैला हुआ है. जनता अब इस सरकार को बदलने के लिए पूरी तरह से तैयार है. हम सभी सहयोगी दल मिलकर चुनाव लड़ेंगे और जीत का परचम लहराएंगे.”

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सीट बंटवारे का मुद्दा

इस बीच, महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के लिए सीटों के बंटवारे पर चर्चा जारी है. सपा ने गठबंधन से 12 सीटें मांग रखी हैं, जबकि महा विकास अघाड़ी ने चार से पांच सीटों का प्रस्ताव दिया है. इस असमंजस के बीच सभी पार्टियों की नजरें आगामी चुनाव पर हैं, जहां परिणाम केवल राजनीतिक दिशा ही नहीं, बल्कि महाराष्ट्र की विकास यात्रा को भी प्रभावित करेंगे. बहरहाल, अब देखना है कि यह गठबंधन अपने लक्ष्यों को हासिल कर पाता है या नहीं. महाराष्ट्र की राजनीति में इन दिनों गहमागहमी तेज है.

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