‘टैरिफ बम’ से डराने की ट्रंप की चाल फ्लॉप! भारत के Plan-B ने अमेरिका को दिया झटका
पीएम मोदी और अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (फाइल फोटो)
Modi Govt Tariff Strategy: वैसे भी भारत को जुगाड़ों का देश कहा जाता है क्योंकि भारत हर मामले में कोई न कोई जुगाड़ निकाल ही लेता है. अमेरिकी टैरिफ का भी तोड़ निकाल लिया गया है. हाल ही में दूसरी तिमाही में जीडीपी के आए आंकड़े यह बताते हैं कि भारतीय अर्थव्यवस्था पर ट्रंप की दवाब नीति का कोई खास प्रभाव नहीं पड़ा. लेकिन यह भी कहना थोड़ी जल्दबाजी होगी कि अमेरिकी टैरिफ का प्रभाव पूरी तरह से असफल रहा. दूसरी तिमाही में भारत की जीडीपी ग्रोथ 8.2% रही, जो आरबीआई के अनुमान से बढ़कर है.
दरअसल, हर तिमाही में जीडीपी ग्रोथ की रिपोर्ट आती है. जिसमें पता चलता है कि भारतीय अर्थव्यवस्था का क्या प्रदर्शन रहा? हाल ही आई जीडीपी की रिपोर्ट को लेकर RBI ने 6 प्रतिशत ग्रोथ का अनुमान लगाया था. इसके अलावा भी सभी रेटिंग एजेंसियों ने 7-7.6 प्रतिशत का अंदाजा लगाया था. जिसके हिसाब से इस बार की जीडीपी पर तगड़ी ग्रोथ देखने को मिली. यह ग्रोथ भारतीय अर्थव्यवस्था के बेहतर प्रदर्शन को लेकर बड़ा कदम माना जा रहा है.
मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर ने मचाई धूम
दूसरी तिमारी की जीडीपी में मैन्युफैक्चरिंग और कंस्ट्रक्शन सेक्टर में तगड़ी उछाल देखने को मिली है. इस बार मैन्युफैक्चरिंग में 9 प्रतिशत तो वहीं कंस्ट्रक्शन सेक्टर में 7.2 प्रतिशत बढ़त दर्ज की गई. इसके अलावा सर्विस सेक्टर में भी तेजी रही. यह जीडीपी प्रतिशत उस दौरान की है, जब अमेरिकी राष्ट्रपति ने भारत पर 50 प्रतिशत टैरिफ लगाने की घोषणा की थी. अमेरिका को लगा कि भारत इस दबाव में झुक जाएगा लेकिन ऐसा बिल्कुल नहीं हुआ.
तीसरी तिमाही में भी तगड़ी ग्रोथ की उम्मीद
यानी अब कहा जा सकता है कि भारतीय अर्थव्यवस्था को रोकने के लिए ट्रंप की चाल फ्लॉप हो गई. भारत ने अपना प्लान-B तैयार कर लिया, जिसकी वजह से दूसरी तिमाही में तगड़ी ग्रोथ देखने को मिली. वहीं अब तीसरी तिमाही में इससे भी ज्यादा ग्रोथ की उम्मीद जताई जा रही है.
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क्या है प्लान-बी?
भारत का प्लान-बी, जिसकी वजह से ट्रंप की टैरिफ का कोई असर नहीं हुआ. ट्रंप सरकार ने भारत पर रूसी तेल खरीदने को बहाना बनाते हुए 50 प्रतिशत का टैरिफ लगाया था, जिसके बाद भारत ने ट्रंप को जवाब देने और उसके प्रभाव को कम करने के लिए काफी हद तक घरेलू मांग, निवेश और नीतियों पर फोकस करना शुरू कर दिया. आयकर में 12 लाख तक की छूट की नई व्यवस्था लागू कर दी. जहां टैरिफ की वजह से विदेशी मांग में मंदी आई तो वहीं घरेलू खपत, निर्माण और सेवाओं में तेजी आई. जिसका असर जीडीपी पर देखने को मिला है. इसे भारत का प्लान-बी कहा जा रहा है.