Chhattisgarh में Vistaar News की खबर का असर, धूल खा रही 40 करोड़ की गाड़ियों पर डिप्टी CM विजय शर्मा का एक्शन
Chhattisgarh: छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में एक बार फिर Vistaar News की खबर का असर हुआ है. इस बार खबर से शासन-प्रशासन जागा है और डिप्टी CM विजय शर्मा ने एक्शन भी लिया है. मामला प्रदेश में इमरजेंसी सर्विस डायल 112 के लिए खरीदी गई 400 गाड़ियों से जुड़ा हुआ है. करीब 40 करोड़ की लागत से खरीदी गई यह गाड़ियां खड़े-खड़े धूल खा रही थीं. इसे लेकर प्रमुखता से सवाल उठाने के बाद उप मुख्यमंत्री विजय शर्मा ने विभाग से पांच सवालों के जवाब मांगे हैं.
धूल खा रहीं 40 करोड़ की गाड़ियां
प्रदेश में लगभग 40 करोड़ रुपए की 400 बोलेरो खड़े- खड़े धूल खा रही हैं. Vistaar News ने यह खबर प्रमुखता से दिखाई थी. इसे लेकर सवाल उठाने के बाद अब विभाग ने गाड़ियों की सुध ली है. खास रिपोर्ट में बताया गया था कि कैसे Vistaar News की टीम जब इन गाड़ियों के पास पहुंची तो विभागीय अमला गाड़ियों की धुलाई करने लगा था. अब गाड़ियों का उपयोग क्यों नहीं हो रहा है इस पर सवाल हुआ है. मामला सामने आने के उप मुख्यमंत्री विजय शर्मा ने एक्शन लेते हुए विभाग से पांच सवालों के जवाब मांगे हैं.
20 नवंबर को किया था खुलासा
Vistaar News ने 20 नवंबर को करोड़ों रुपयों की इन गाड़ियों की हालत को लेकर एक खास रिपोर्ट के जरिए सवाल उठाए थे. पिछली सरकार में 15 महीने पहले डायल– 112 को 22 अन्य जिलों में शुरू करने के लिए ये गाड़ियां बुलवाई गई थीं. गाड़ियां आ गई लेकिन इनके संचालन की जिम्मेदारी नहीं सौंपी गई. अब गाड़ियों का संज्ञान लेते हुए उपमुख्यमंत्री विजय शर्मा ने विभाग से पांच सवाल पूछे हैं.
विभाग ने की लापरवाही, अब देना होगा जवाब
उपमुख्यमंत्री विजय शर्मा ने विभाग से इसे मामले पर पांच सवाल पूछे हैं. इन 5 सवालों के जवाब के साथ विभाग को गाड़ियों का फिटनेस सर्टिफिकेट भी देना होगा. जानिए क्या हैं 5 सवाल-
- यह गाड़ी कब से ली गई हैं ?
- लेने की प्रक्रिया क्या रही ?
- यह गाड़ियां कब से खड़ी हुई हैं?
- इसकी फिटनेस की जांच कैसे की गई?
- इन्हें उपयोग में क्यों नहीं लिया जा रहा है?
जल्द होगा संचालन
इसे लेकर उपमुख्यमंत्री विजय शर्मा ने कहा कि जल्द गाड़ियों के निर्णय कर उनका संचालन किया जाएगा. साथ ही उप मुख्यमंत्री विजय शर्मा ने यह भी उम्मीद जताई है कि विभाग 1 से 2 दिनों में रिपोर्ट सौंप देगा. इसके बाद गाड़ियों के संचालन के लिए एजेंसी भी तय की जाएगी.