Chhattisgarh: रिश्वत लेने की शिकायत की तो ASI ने दर्ज कर दिया एट्रोसिटी का मामला, हाई कोर्ट ने निचली अदालत की कार्यवाही पर लगाई रोक

Chhattisgarh News: वाहन छोड़ने के एवज में रिश्वत मांगने की शिकायत करने पर दुर्ग के ट्रांसपोर्टर के खिलाफ एट्रोसिटी एक्ट के तहत मामला दर्ज कर लिया गया था. ट्रांसपोर्टर की याचिका पर सुनवाई के बाद हाई कोर्ट की डिवीजन बेंच ने आगामी आदेश तक निचली अदालत की कार्रवाई पर रोक लगा दी है.
Chhattisgarh News

बिलासपुर हाईकोर्ट

Chhattisgarh News: वाहन छोड़ने के एवज में रिश्वत मांगने की शिकायत करने पर दुर्ग के ट्रांसपोर्टर के खिलाफ एट्रोसिटी एक्ट के तहत मामला दर्ज कर लिया गया था. ट्रांसपोर्टर की याचिका पर सुनवाई के बाद हाई कोर्ट की डिवीजन बेंच ने आगामी आदेश तक निचली अदालत की कार्रवाई पर रोक लगा दी है.

क्या है पूरा मामला

दुर्ग निवासी सुखवंत सिंह ट्रांसपोर्टर हैं. उनके ट्रक को मार्च 2024 में मोटर व्हीकल एक्ट के तहत जब्त कर पुलिस ने कोर्ट में प्रस्तुत किया था. कोर्ट ने एक हजार रुपए जुर्माना लगाते हुए वाहन वापस करने का निर्देश पुलिस को दिया था. जुर्माना पटाने के बाद भी वाहन को सौंपने के एवज में एएसआई नारद टांडेकर ने 15 हजार रुपये रिश्वत मांगी. ट्रांसपोर्टर ने क्यूआर कोड के जरिए एएसआई को ऑनलाइन रकम ट्रांसफर की. साथ ही उच्च अधिकारियों, निदेशक, राज्य आर्थिक अपराध अन्वेषण ब्यूरो, भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो रायपुर में शिकायत की. इस पर सहायक उप निरीक्षक ने उसके खिलाफ थाने में झूठी शिकायत दर्ज करा दी. एट्रोसिटी एक्ट के तहत एफआइआर दर्ज करने के साथ ही आरोप पत्र भी दाखिल कर दिया गया. याचिकाकर्ता ने एफआईआर रद्द करने की मांग करते हुए वकील अनिल तावड़कर के माध्यम से हाईकोर्ट में याचिका दायर की.

ये भी पढ़ें- बिलासपुर एयरपोर्ट को अंतरराज्यीय एयरपोर्ट बनवाऊंगा, ट्रेनों से जुड़ी समस्याएं भी होंगी दूर- बोले नवनिर्वाचित सांसद तोखन साहू

मामले की सुनवाई जस्टिस दीपक कुमार तिवारी, जस्टिस अरविंद वर्मा की डिवीजन बेंच में हुई. सुनवाई के दौरान एएसआई को किए गए ऑनलाइन भुगतान सहित अन्य प्रमाण प्रस्तुत किए गए. कोर्ट ने याचिकाकर्ता को राहत देते हुए आपराधिक कार्रवाई पर आगामी आदेश तक रोक लगा दी है. प्रकरण की अगली सुनवाई जुलाई के अंतिम सप्ताह में रखी गई है.

ज़रूर पढ़ें