युद्ध के मैदान में इजरायल और ईरान, कौन है सैन्य ताकत का बादशाह?

इजरायल की थल सेना के पास 1,370 टैंक हैं, जिनमें ज्यादातर मर्कवा टैंक हैं. ये टैंक मध्य पूर्व के युद्धों के लिए खास तौर पर डिजाइन किए गए हैं. इसके अलावा 43,407 बख्तरबंद वाहन और 150 रॉकेट आर्टिलरी सिस्टम हैं.
Israel-Iran Conflict

ईरान और इजरायल की सैन्य ताकत

Israel-Iran Conflict: मध्य पूर्व की गलियों में इन दिनों तनाव का माहौल है. इजरायल और ईरान, दो ऐसे देश जो एक-दूसरे के सामने आते ही तलवारें खींच लेते हैं. हाल ही में इजरायल ने ईरान के सैन्य ठिकानों पर हवाई हमले किए, जिसके बाद ईरान ने भी जवाबी कार्रवाई की. ईरान ने मिसाइल हमले से इजरायल में तबाही ला दी है. लेकिन सवाल यह है कि अगर इन दोनों देशों में जंग छिड़ गई, तो कौन मारेगा बाजी? आइए, जानते हैं किसके पास है असली दम!

सैन्य ताकत में किसी महाशक्ति से कम नहीं इजरायल

इजरायल नक्शे पर छोटा-सा दिखता है, लेकिन सैन्य ताकत में किसी महाशक्ति से कम नहीं. इसकी जनसंख्या करीब 95 लाख है, लेकिन अनिवार्य सैन्य सेवा की वजह से हर नागरिक एक प्रशिक्षित सैनिक है. पुरुषों को 32 महीने और महिलाओं को 24 महीने की सैन्य ट्रेनिंग लेनी पड़ती है. यानी, जरूरत पड़ने पर पूरा देश सेना बन सकता है.

सैनिकों की संख्या: इजरायल के पास 1,70,000 सक्रिय सैनिक हैं और 4,65,000 रिजर्व फोर्स. युद्ध के समय ये संख्या 6,35,000 तक पहुंच सकती है. इजरायल का रक्षा बजट करीब 24.4 से 30.5 अरब डॉलर है, जो ईरान से कई गुना ज्यादा है. अमेरिका से हर साल 3.8 अरब डॉलर की सैन्य सहायता इसे और ताकत देती है.

आसमान का शेर इजरायल की वायुसेना

इजरायल की वायुसेना को पश्चिम एशिया में सबसे ताकतवर माना जाता है. इसके पास 612 विमान हैं, जिनमें 241 फाइटर जेट्स शामिल हैं. खास बात यह है कि इजरायल के पास दुनिया का सबसे आधुनिक स्टेल्थ फाइटर जेट F-35I Adir है, जो अमेरिका ने खास तौर पर इसके लिए बनाया. इसके अलावा F-15 और F-16 जैसे जेट्स भी इसके बेड़े में हैं.

इजरायल का आयरन डोम तो जैसे मिसाइलों का काल है. यह हवा में ही दुश्मन की मिसाइलों और रॉकेट्स को ढेर कर देता है. इसकी सफलता दर 90% से ज्यादा है. इसके साथ ही डेविड्स स्लिंग और एरो-3 जैसे डिफेंस सिस्टम इजरायल को अभेद्य किला बनाते हैं.

इजरायल की थल सेना और नौसेना

इजरायल की थल सेना के पास 1,370 टैंक हैं, जिनमें ज्यादातर मर्कवा टैंक हैं. ये टैंक मध्य पूर्व के युद्धों के लिए खास तौर पर डिजाइन किए गए हैं. इसके अलावा 43,407 बख्तरबंद वाहन और 150 रॉकेट आर्टिलरी सिस्टम हैं. नौसेना में इजरायल के पास 67 नौसैनिक एसेट्स हैं, जिनमें 5 पनडुब्बियां और 7 कोरवेट्स शामिल हैं. हालांकि, इसकी नौसेना ईरान की तुलना में छोटी है, लेकिन तकनीक में यह कहीं आगे है.

परमाणु ताकत

इजरायल के पास आधिकारिक तौर पर परमाणु हथियार होने की बात स्वीकारी नहीं गई, लेकिन स्टॉकहोम इंटरनेशनल पीस रिसर्च इंस्टीट्यूट (SIPRI) का अनुमान है कि इसके पास 80-90 परमाणु हथियार हैं. इनमें जेरिको-II बैलिस्टिक मिसाइलें शामिल हैं, जो 1,500 किमी तक मार कर सकती हैं.

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ईरान के पास मिसाइलों का जखीरा

ईरान की जनसंख्या करीब 8.8 करोड़ है. इसकी सैन्य ताकत का आधार है इसकी विशाल सेना और बैलिस्टिक मिसाइलें हैं. ईरान की सेना में दो हिस्से हैं, नियमित सेना और इस्लामिक रिवॉल्यूशनरी गार्ड कॉर्प्स (IRGC), जो इसकी रीढ़ है.

ईरान के पास 6,10,000 सक्रिय सैनिक, 3,50,000 रिजर्व फोर्स और 2,20,000 पैरा-मिलिट्री फोर्स हैं. कुल मिलाकर 11,80,000 सैनिक, जो इजरायल से दोगुने से भी ज्यादा हैं. ईरान का रक्षा बजट 6.85 से 10.28 अरब डॉलर है, जो इजरायल से काफी कम है. लेकिन गैर-पारदर्शी फंडिंग से इसकी सेना को अतिरिक्त संसाधन मिलते हैं.

ईरान की वायुसेना पुरानी, लेकिन घातक

ईरान की वायुसेना तकनीकी रूप से इजरायल से पीछे है. इसके पास 551 विमान हैं, जिनमें 186 फाइटर जेट्स शामिल हैं. लेकिन ज्यादातर विमान पुराने हैं, जैसे F-14 टॉमकैट (1970 के दशक के), मिग-29, और सु-24. प्रतिबंधों की वजह से इनके रखरखाव और अपग्रेडेशन में दिक्कत आती है.

ईरान का बावर-373 और खोरदाद-15 जैसे वायु रक्षा सिस्टम हैं, लेकिन ये इजरायल के आयरन डोम या एरो-3 की तुलना में कम प्रभावी हैं. हाल के हमलों में इजरायल ने ईरान के रडार और डिफेंस सिस्टम को आसानी से निशाना बनाया.

ईरान की थल सेना और नौसेना

ईरान की थल सेना के पास 1,996 टैंक और 65,765 बख्तरबंद वाहन हैं, जो इजरायल से ज्यादा हैं. लेकिन ये ज्यादातर पुराने सोवियत या चीनी डिजाइन के हैं. नौसेना में ईरान के पास 101 नौसैनिक एसेट्स हैं, जिनमें 7 फ्रिगेट्स, 3 कोरवेट्स, और 19 पनडुब्बियां शामिल हैं. ईरान की नौसेना तटीय रक्षा और छोटी पनडुब्बियों पर निर्भर है, जो खाड़ी क्षेत्र में प्रभावी हो सकती है.

ईरान का ट्रंप कार्ड मिसाइलें

ईरान की सबसे बड़ी ताकत है इसकी बैलिस्टिक और क्रूज मिसाइलें. मध्य पूर्व में इसका मिसाइल भंडार सबसे बड़ा है.


सेजिल: 2,000 किमी रेंज, जो इजरायल को आसानी से निशाना बना सकती है.
फतह: हाइपरसोनिक मिसाइल, जो रडार को चकमा दे सकती है.
शहाब-3: 1,300 किमी रेंज वाली मिसाइल.

ईरान के पास ड्रोन भी हैं, जो सस्ते लेकिन घातक हैं. ये प्रॉक्सी समूहों जैसे हिजबुल्लाह और हूती के जरिए इस्तेमाल किए जाते हैं.

परमाणु ताकत

ईरान के पास अभी परमाणु हथियार नहीं हैं, लेकिन इसका परमाणु कार्यक्रम चिंता का विषय है. IAEA की जून 2025 की रिपोर्ट के मुताबिक, ईरान के पास 408.6 किलोग्राम 60% संवर्धित यूरेनियम है, जो 90% हथियार-ग्रेड से एक कदम पीछे है. यह 9 परमाणु बम बनाने के लिए काफी है.

ईरान का हथियार प्रॉक्सी युद्ध

ईरान की एक खास रणनीति है प्रॉक्सी युद्ध. हिजबुल्लाह (लेबनान), हूती (यमन), और इराकी मिलिशिया जैसे समूह इसके लिए काम करते हैं. हिजबुल्लाह के पास 1,50,000 रॉकेट्स और मिसाइलें हैं, जो इजरायल के लिए बड़ा खतरा हैं.

कौन है ज्यादा ताकतवर?

ईरान की सेना इजरायल से दोगुनी है. टैंक, बख्तरबंद वाहन, और मिसाइलों की संख्या में भी यह आगे है. हालांकि, तकनीक में इजरायल की वायुसेना, डिफेंस सिस्टम, और खुफिया एजेंसी (मोसाद) इसे भारी बढ़त देती हैं. इजरायल को अमेरिका और पश्चिमी देशों का समर्थन है, जबकि ईरान को रूस और चीन का. लेकिन ईरान पर प्रतिबंधों ने इसकी सैन्य क्षमता को सीमित किया है.

युद्ध हुआ तो क्या होगा?

अगर जंग छिड़ी, तो इजरायल की वायुसेना और डिफेंस सिस्टम शुरुआत में भारी पड़ सकते हैं. लेकिन ईरान की मिसाइलें और प्रॉक्सी समूह इसे लंबा खींच सकते हैं. दोनों देशों के पास विनाशकारी हथियार हैं, जिससे मध्य पूर्व में तबाही मच सकती है.

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