मेडिकल छात्रों के लिए फिर मायूसी, NEET-UG मामले पर फैसले का इंतजार, अब 18 जुलाई को सुनवाई करेगा सुप्रीम कोर्ट

NEET-UG: सुप्रीम कोर्ट में नीट पेपर लीक पर अब अगले हफ्ते सुनवाई करेगा. नीट पेपर लीक से जुड़ी याचिकाओं को आइटम नंबर 40 से 45 के बीच लिस्ट किया गया था.
सुप्रीम कोर्ट

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NEET-UG: सुप्रीम कोर्ट में नीट पेपर लीक पर अब अगले हफ्ते सुनवाई करेगा. नीट पेपर लीक से जुड़ी याचिकाओं को आइटम नंबर 40 से 45 के बीच लिस्ट किया गया था. चीफ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ ने बताया कि नीट पर सुनवाई अगले गुरुवार तक के लिए टाल दिया गया है. चीफ जस्टिस ने कहा कि नीट पेपर लीक से जुड़ी याचिकाओं को अगले गुरुवार (18 जुलाई) को सुनवाई की जाएगी.

सुप्रीम कोर्ट आज NEET-UG मामले को लेकर अहम सुनवाई होनी थी. इस मामले की सुनवाई से पहले सीबीआई ने कोर्ट में बंद लिफाफे में अपनी रिपोर्ट दाखिल किया था. ऐसे में सभी छात्रों की निगाहें शीर्ष अदालत के फैसले पर टिकी थी कि क्या NEET-UG परीक्षा कैंसिल होगी और फिर से एग्जाम होंगे? हालांकि, फैसले का इंतजार कर रहे छात्रों के फिर मायूसी ही हाथ लगी.

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केंद्र और NTA का सामूहिक गड़बड़ी से इनकार

इससे पहले सुप्रीम कोर्ट में केंद्र सरकार, NTA और CBI की ओर से हलफनामा दाखिल किया जा चुका है. छात्रों ने सुप्रीम कोर्ट में जो याचिका दाखिल की है, उसमें कथित पेपर लीक मामले की दोबारा परीक्षा कराने और उचित जांच की मांग की गई है. केंद्र और NTA ने 5 मई को आयोजित परीक्षा में किसी भी तरह की सामूहिक गड़बड़ी से इनकार किया है. गुरुवार को सीबीआई ने सुप्रीम कोर्ट में हलफनामा दाखिल किया. इससे पहले बुधवार को केंद्र सरकार और NTA (नेशनल टेस्टिंग एजेंसी) ने हलफनामा दाखिल किया था. केंद्र सरकार पहले ही कोर्ट को बता चुकी है कि वो NEET परीक्षा दोबारा कराने के पक्ष में नहीं है.

सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट का केंद्र से सवाल

पिछली सुनवाई में सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र और NTA से यह भी पूछा था कि प्रश्न पत्र कैसे सुरक्षित रखा गया था, उसे कैसे एग्जाम सेंटर तक भेजा गया और संभावित लीक कैसे हो सकता है? इस पूरी प्रक्रिया के संबंध में अपने हलफनामे दाखिल करें. कोर्ट ने यह भी कहा था कि यदि जांच की प्रगति और कथित पेपर लीक के प्रभाव की सीमा से कोर्ट संतुष्ट नहीं है तो सिर्फ अंतिम उपाय के रूप में दोबारा परीक्षा का आदेश दिया जाएगा.

CJI का कहना कि यदि परीक्षा की पवित्रता खत्म हो जाती है तो दोबारा परीक्षा का आदेश देना होगा, यदि दागी और बेदाग को अलग करना संभव नहीं है तो दोबारा परीक्षा का ही विकल्प है. यदि इलेक्ट्रॉनिक माध्यम से पेपर लीक हुआ है तो ये जंगल में आग की तरह फैल सकता है और बड़े पैमाने पर लीक हो सकता है.

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