मनी लॉन्ड्रिंग मामले में कर्नाटक के डिप्टी सीएम DK Shivakumar को बड़ी राहत, SC ने रद्द किया केस

7 साल पहले अगस्त, 2017 में दिल्ली में DK Shivakumar के घर पर आयकर विभाग ने छापेमारी की.
DK Shivakumar

कर्नाटक के डिप्टी सीएम डीके शिवकुमार

DK Shivakumar Money Laundering Case: कर्नाटक के डिप्टी सीएम डीके शिवकुमार को बड़ी राहत मिली है. मंगलवार, 5 मार्च को सुप्रीम कोर्ट ने कर्नाटक के डिप्टी सीएम डीके शिवकुमार के खिलाफ 2018 में दर्ज मनी लॉन्ड्रिंग का मामला रद्द कर दिया. सुप्रीम कोर्ट में जस्टिस अनिरुद्ध बोस और जस्टिस बेला माधुर्य त्रिवेदी की बेंच ने यह फैसला सुनाया है. बता दें कि 2017  में उनके घर से बेहिसाब नकदी मिली थी. उसे लेकर ही सुप्रीम कोर्ट में सुनावाई हुई.

7 साल पहले मिली थी बेहिसाब नकदी

बता दें कि करीब 7 साल पहले अगस्त, 2017 में दिल्ली में शिवकुमार के घर पर आयकर विभाग ने छापेमारी की. इस दौरान उनके घर से बेहिसाब नकदी मिलने के बाद ED ने मनी लॉन्ड्रिंग की धाराओं के तहत जांच शुरू की. ईडी की जांच के आधार पर सीबीआई ने कर्नाटक सरकार से उनके खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करने की मंजूरी की मांग की, जिसे तत्कालीन बीजेपी सरकार ने 25 सितंबर 2019 को मंजूरी दे दी. इसके हफ्ते भर बाद ही मामले में 3 अक्टूबर 2020 को प्राथमिकी दर्ज की गई. बाद में कांग्रेस नेता शिवकुमार ने प्राथमिकी को कर्नाटक उच्च न्यायालय में चुनौती दी.

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कर्नाटक HC ने दिया था झटका

इसके बाद उनके खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग के एक कथित मामले में ईडी ने समन जारी किया था. इसे रद्द करने के लिए उन्होंने कर्नाटक हाई कोर्ट का रुख किया, लेकिन HC ने समन और ED की कार्रवाई पर रोक लगाने से मना कर दिया. कर्नाटक HC से निराशा मिलने के बाद कर्नाटक के डिप्टी सीएम ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया. सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई करते हुए जस्टिस अनिरुद्ध बोस और जस्टिस बेला माधुर्य त्रिवेदी की पीठ ने कहा कि डीके शिव कुमार के खिलाफ PMLA के तहत की गई कार्रवाई कानून और नियम सम्मत नहीं होने के कारण रद्द की जाती है.

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