MP: ‘पत्नी कमाती है फिर भी पति को भरण पोषण की राशि देनी होगी’, फैमिली कोर्ट ने दिया आदेश

कोर्ट ने कहा, 'बच्चों के भरण-पोषण की प्राथमिक व नैतिक जिम्मेदारी पिता की है. इसलिए बेटी के लिए 15 हजार रुपये और बेटे के लिए 10 हजार रुपये हर महीने देने होंगे. ये धनराशि बच्चों की मां के पास जाएगी.'
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सांकेतिक तस्वीर.

Indore Family Court: ‘पत्नी भले ही कमाती हो लेकिन बच्चों के भरण-पोषण के लिए पति को धनराशि देनी होगी.’ ये आदेश इंदौर की एक फैमिली कोर्ट ने झगड़े के बाद अलग रह रहे पति-पत्नी विवाद के मामले में दिया. अपने 2 बच्चों बेटी(12) और बेटा(10) के साथ पति से अलग रह रही सोनल ने भरण-पोषण के लिए फैमिली कोर्ट में अर्जी दी थी. जिसके बाद कोर्ट ने बेटी के लिए 15 हजार और बेटे को 7 हजार रुपये हर महीने भुगतान करने का आदेश दिया है.

बच्चों का पालन-पोषण करना पिता की नैतिक जिम्मेदारी

इंदौर की फैमिली कोर्ट ने ये माना कि महिला शिक्षित है और नौकरी भी कर रही है. लेकिन वो अपने बच्चों के साथ रहती है. कोर्ट ने कहा, ‘बच्चों के भरण-पोषण की प्राथमिक व नैतिक जिम्मेदारी पिता की है. इसलिए बेटी के लिए 15 हजार रुपये और बेटे के लिए 10 हजार रुपये हर महीने देने होंगे. ये धनराशि बच्चों की मां के पास जाएगी.’

‘इंजीनियर पति हर महीने 75 हजार कमाता है’

सोनल ने फैमिली कोर्ट में जानकारी देते हुए बताया कि पति संदीप इंजीनियर है और हर महीने 75 हजार रुपये कमाता है. वहीं संदीप ने कोर्ट को बताया कि पत्नी शिक्षित है और हर महीने 20 हजार रुपये महीने कमा रही है.

दोनों 2020 से अलग रह रहे हैं. इंदौर फैमिली कोर्ट ने आदेश दिया है कि जब से दोनों अलग रह रहे हैं, तभी से पति को 15 हजार महीने के हिसाब से भुगतान करना होगा.

पति ने दूसरी शादी कर ली

साल 2012 को संदीप और सोनल की शादी हुई थी. जिसके बाद दोनों ने एक बेटी और एक बेटा हुआ. लेकिन शादी के बाद से ही दोनों के बीच विवाद शुरू हो गया था. सोनल का आरोप है कि संदीप अक्सर उससे मारपीट करता था और घर बच्चों के साथ घर से निकाल दिया था. जिसके बाद से ही सोनल बच्चों के साथ अलग रह रही है. वहीं पति संदीप ने दूसरी शादी कर ली है.

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