MP की Sex Workers को अब रेड के दौरान पुलिस नहीं कर सकेगी अरेस्ट, आदेश जारी

MP News: मध्य प्रदेश पुलिस मुख्यालय की ओर से सेक्स वर्कर्स को लेकर जरूरी आदेश जारी किया गया है. आदेश के तहत अब होटलों और ढाबों में रेड के दौरान महिला सेक्स वर्कर्स को गिरफ्तार या दंडित नहीं किया जाएगा.
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MP की Sex Workers के लिए जरूरी खबर

MP News: मध्य प्रदेश की महिला सेक्स वर्कर्स (Sex Workers) के लिए जरूरी खबर है. MP पुलिस मुख्यालय (MP Police Headquarters) की ओर से अहम आदेश जारी किया गया है. इस आदेश के तहत कहा गया है कि सेक्स वर्कर का काम करना अवैध नहीं है. किसी भी होटल-ढाबा में दबिश के दौरान सेक्स वर्कर को गिरफ्तार या दंडित नहीं किया जाएगा. प्रदेशभर में सभी SP को आदेश का कड़ाई से पालन कराने के निर्देश दिए गए हैं.

सेक्स वर्कर्स के लिए आदेश जारी

मध्य प्रदेश पुलिस मुख्यालय की ओर से सभी जिलों के पुलिस अधीक्षकों और भोपाल-इंदौर के पुलिस आयुक्तों को पत्र लिखा गया है. इस पत्र में कहा गया है कि राज्य में वेश्यालयों का संचालन अवैध है. ढाबों और होटलों में संचालित होने वाले वेश्यालयों से पकड़ी जाने वाली महिला सेक्स वर्कर्स को आरोपी नहीं बनाया जाएगा. सेक्स वर्कर का काम करना अवैध नहीं है. किसी भी होटल-ढाबा में दबिश के दौरान सेक्स वर्कर को गिरफ्तार या दंडित नहीं किया जाएगा. सभी SP को इस आदेश का सख्ती से पालन करने के निर्देश दिए गए हैं.

महिला सेक्स वर्कर्स को नहीं किया जाएगा अरेस्ट

मध्य प्रदेश मुख्यालय की महिला सुरक्षा शाखा की ओर से पत्र जारी किया गया है. इसमें कहा गया है- ‘कई जिलों में अनैतिक व्यापार निवारण अधिनियम के अंतर्गत रजिस्टर्ड किए जाने वाले अपराधों में अक्सर देखने में आता है कि होटल संचालकों और ढाबा मालिकों द्वारा पैसा लेकर होटल और ढाबों के कमरे में वेश्यालय संचालित किया जाता है. ऐसे मामलों में पुलिस द्वारा दबिश दिए जाने के दौरान वहां से पकड़ी जाने वाली महिला को भी आरोपी बनाया जाता है.’

सुप्रीम कोर्ट के आदेश का हवाला

इस पत्र में सुप्रीम कोर्ट के आदेश का हवाला भी दिया गया है. उसमें आगे लिखा है-‘महिला सेक्स वर्कर के साथ पीड़ित और शोषित के जैसे करने को लेकर पूर्व में भी निर्देश दिए गए हैं. इसको लेकर 21 सितंबर 2023 को सर्वोच्च न्यायालय के क्रिमिनल अपील क्रमांक 135-2020 बुद्धदेव कर्मास्कर बनाम पश्चिम बंगाल राज्य और अन्य आदेश के अनुसार वेश्यालयों में दबिश के दौरान स्वैच्छिक लैंगिक कार्य अवैध नहीं है.’

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वेश्यालय का संचालन अवैध

सुप्रीम कोर्ट के आदेश का हवाला देते हुए आगे कहा गया है- ‘ केवल वेश्यालय चलाना अवैध है, सेक्स वर्कर को गिरफ्तार कर दंडित अथवा परेशान नहीं करना चाहिए.’ इस आदेश के आधार पर पीएचक्यू ने ऐसे स्थानों पर मिलने वाली महिला सेक्स वर्कर को गिरफ्तार नहीं करने और न ही उनका किसी भी प्रकार से शोषण या दंडित करने की बात कही है.

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