“बिहार चुनाव में तहव्वुर राणा को दी जाएगी फांसी”, संजय राउत का सनसनीखेज दावा!

राउत यहीं नहीं रुके. उन्होंने आर्थिक भगोड़ों नीरव मोदी और मेहुल चोकसी को भारत लाने की मांग भी उठाई. साथ ही, पाकिस्तान की जेल में बंद भारतीय नागरिक कुलभूषण जाधव की रिहाई का मुद्दा भी छेड़ दिया. जाधव को 2016 में पाकिस्तान ने कथित जासूसी के आरोप में पकड़ा था और मौत की सजा सुनाई थी.
Sanjay Raut On Tahawwur Rana

संजय राउत और तहव्वुर राणा

Sanjay Raut On Tahawwur Rana: शिवसेना (UBT) के फायरब्रांड सांसद संजय राउत ने एक बार फिर सुर्खियां बटोर ली हैं. इस बार उन्होंने 26/11 मुंबई आतंकी हमले के मुख्य आरोपी तहव्वुर हुसैन राणा को लेकर बड़ा दावा किया है. राउत का कहना है कि सरकार बिहार विधानसभा चुनाव के दौरान राणा को फांसी दे सकती है. जी हां, आपने सही सुना. राउत ने साफ कहा, “राणा जैसे गुनहगार को तुरंत सजा-ए-मौत देनी चाहिए, लेकिन लगता है सरकार इसे बिहार चुनाव के समय करेगी.”

संजय राउत ने की नीरव मोदी और मेहुल चोकसी को भारत लाने की मांग

राउत यहीं नहीं रुके. उन्होंने आर्थिक भगोड़ों नीरव मोदी और मेहुल चोकसी को भारत लाने की मांग भी उठाई. साथ ही, पाकिस्तान की जेल में बंद भारतीय नागरिक कुलभूषण जाधव की रिहाई का मुद्दा भी छेड़ दिया. जाधव को 2016 में पाकिस्तान ने कथित जासूसी के आरोप में पकड़ा था और मौत की सजा सुनाई थी. भारत ने इन आरोपों को बेबुनियाद बताते हुए इंटरनेशनल कोर्ट में लड़ाई लड़ी, जहां जाधव की फांसी पर रोक लगी. राउत ने कहा, “जाधव को जल्द से जल्द वापस लाना होगा.”

हालांकि, राणा का मामला सबसे ज्यादा चर्चा में है. राउत ने बताया कि राणा को भारत लाने की जंग 16 साल से चल रही है, जो कांग्रेस के समय शुरू हुई थी. उन्होंने कहा, “इसका श्रेय कोई अकेले न ले.” राउत ने यह भी याद दिलाया कि राणा पहले ऐसे आरोपी नहीं हैं, जिन्हें भारत लाया गया. 1993 के मुंबई बम धमाकों के गुनहगार अबू सलेम को भी प्रत्यर्पित किया जा चुका है. तो क्या वाकई राणा को फांसी बिहार चुनाव के समय होगी?

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आज भी ताजा हैं 26/11 के घाव

जानकारों का कहना है कि राउत का यह बयान सियासी ज्यादा लगता है. फांसी जैसे फैसले अदालतें लेती हैं, न कि नेता. फिर भी, राउत का यह दावा जनता में जोश भरने और सरकार पर दबाव बनाने की कोशिश तो है ही.

26/11 के घाव आज भी ताजा हैं. उस हमले में 160 से ज्यादा लोग मारे गए थे, और राणा पर इसके पीछे साजिश रचने का आरोप है. ऐसे में जनता भी चाहती है कि गुनहगारों को सजा मिले. लेकिन क्या राउत का दावा हकीकत बनेगा, या यह सिर्फ सियासी शोर है? यह तो वक्त ही बताएगा. फिलहाल, राउत के इस बयान ने बिहार चुनाव से पहले माहौल गरमा दिया है. नजरें अब सरकार और कोर्ट के अगले कदम पर टिकी हैं.

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