‘नेमप्लेट’ के बाद अब वाराणसी में मांस-मछली की दुकान भी बंद, विवाद के बीच ‘योगी बाबा’ का एक और बड़ा फैसला
Kanwar Yatra 2024: उत्तर प्रदेश में नेमप्लेट मॉडल को लेकर सियासत पहले से ही गरमाया हुआ है. इस बीच योगी सरकार ने एक और बड़ा फैसला किया है. दरअसल, वाराणसी नगर निगम ने एक आदेश में कांवड़ यात्रा मार्ग पर सभी मांस और मुर्गी की दुकानों को सावन के महीने में बंद रखने को कहा है. इससे पहले उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड और मध्य प्रदेश की राज्य सरकारों ने राज्य के कुछ हिस्सों में दुकान मालिकों से कांवर यात्रा मार्ग पर अपने नाम और फोन नंबर प्रदर्शित करने के लिए कहा था, जिसके बाद यह निर्देश आया है.
कार्यकारी समिति की बैठक में लिया गया फैसला
वाराणसी नगर निगम के जनसंपर्क अधिकारी संदीप श्रीवास्तव ने बताया कि महापौर की अध्यक्षता में कार्यकारी समिति की बैठक के दौरान यह निर्णय लिया गया. नगर आयुक्त ने संबंधित अधिकारियों को यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया है कि कांवर मार्गों पर ये दुकानें सावन के महीने में बंद रहें, ताकि कांवरियों को किसी भी तरह की असुविधा या समस्या न हो. उन्होंने यह भी बताया कि चूंकि कांवरिए विभिन्न मार्गों से आते हैं, इसलिए उनके मार्गों पर सर्वेक्षण किया जाएगा, ताकि मार्ग पर स्थित मांस और मुर्गे की दुकानें जल्द से जल्द बंद की जा सकें. इस बीच, उत्तर प्रदेश पुलिस ने शनिवार को कहा कि श्रावण शिवरात्रि उत्सव की सभी तैयारियां सफलतापूर्वक पूरी कर ली गई हैं.
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शिवरात्रि को लेकर भी तैयारी पूरी
एएसपी मनीष कुमार मिश्रा ने एएनआई को बताया, “आगामी सावन शिवरात्रि उत्सव के संदर्भ में आज अंतिम चरण की बैठक हुई. इस अंतर-विभागीय बैठक में दिल्ली के पड़ोसी जिलों के अधिकारियों को भी आमंत्रित किया गया और उन्होंने भाग लिया. सभी तैयारियां सफलतापूर्वक पूरी कर ली गई हैं और हमें विश्वास है कि श्रावण शिवरात्रि का त्योहार सुचारू रूप से आयोजित किया जाएगा. अंतर-विभागीय बैठक में सुरक्षा, सफाई और अन्य आवश्यक व्यवस्थाओं सहित सभी पहलुओं पर चर्चा की गई.”
कांवर यात्रा के लिए प्रसिद्ध है सावन का महीना
बताते चलें कि सावन शिवरात्रि एक पवित्र हिंदू त्योहार है, जो पूरी तरह से भगवान शिव को समर्पित है. सावन के इस पावन महीने में पूरे देश में भगवान शिव की पूजा की जाती है. सावन का महीना कांवर यात्रा के लिए प्रसिद्ध है, भक्त गंगा जल लाते हैं और शिवरात्रि के दिन भगवान शिव को अर्पित करते हैं. सावन शिवरात्रि हर साल जुलाई या अगस्त के महीने में आती है.