MP में 27% OBC आरक्षण मामले पर सुप्रीम कोर्ट की राज्य सरकार को फटकार, 23 सितंबर से रेगुलर हियरिंग के दिए निर्देश
सुप्रीम कोर्ट(File Photo)
MP News: मध्य प्रदेश में OBC वर्ग को 27% आरक्षण के मामले में बड़ा अपडेट है. इस मामले में 12 अगस्त को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई. इस दौरान सर्वोच्च न्यायालय ने राज्य सरकार को फटकार लगाते हुए 23 सितंबर से नियमित सुनवाई का निर्देश दिया है. वहीं इस मामले पर सुनवाई करते हुए अदालत ने कहा कि राज्य सरकार सो रही है क्या? 13% होल्ड पदों पर 6 साल में क्या किया गया? कोर्ट ने कहा कि सरकार के जनप्रतिनिधि कहते हैं कि वे 27% आरक्षण देने के लिए प्रतिबद्ध हैं लेकिन उनके वकील ऑर्डर डिक्टेट हो जाने के बाद सुनवाई में पहुंचते हैं.
23 सितंबर से होगी नियमित सुनवाई
मध्य प्रदेश लोक सेवा (अनुसूचित जातियों, अनुसूचित जनजातियों और अन्य पिछड़े वर्गों के लिए आरक्षण) संशोधन अधिनियम, 2019 – ओबीसी आरक्षण की संवैधानिक वैधता के मामले में सुप्रीम कोर्ट द्वारा राज्य सरकार के तर्कों से सहमत होते हुए और मामले की गंभीरता को देखते हुए अंतिम सुनवाई (टॉप ऑफ़ द बोर्ड ) से रोजाना सुनवाई के लिए निर्देश दिया गया. सीनियर वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने याचिकाकर्ताओं की तरफ से कोर्ट के सामने पक्ष रखा.
मध्य प्रदेश में अब OBC वर्ग के 27% आरक्षण पर अंतरिम रोक लगी हुई है. 4 मई 2022 को मध्य प्रदेश हाई कोर्ट ने अंतरिम आदेश में OBC आरक्षण की सीमा 14% तक सीमित कर दी थी. इस आदेश को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी गई, जिसके बाद से पूरा मामला SC में है.
इस मामले पर एमपी में राजनीति भी गरमाई रही है और कांग्रेस लगातार राज्य की भाजपा सरकार पर आरोप लगाती है कि सरकार की मंशा ही 27 फीसदी आरक्षण देने की नहीं है.