ठाकुर ने शराब नीति में हुए घोटाले पर इस दौरान CAG (कैग) की रिपोर्ट का हवाला देते हुए अरविंद केजरीवाल के नेतृत्व में चली AAP सरकार को भ्रष्ट सरकार बताया.
Delhi Election: विरोध मार्च को लेकर अरविंद केजरीवाल ने प्रेस कॉन्फ्रेंस की. जिसमें उन्होंने आरोप लगाया कि पूर्वांचलियों का सबसे ज्यादा अपमान BJP करती है. प्रदर्शन को लेकर केजरीवाल बोले कि वे अपने घर के बाहर एक टेंट लगा देता हूं. केजरीवाल ने बीजेपी को झूठा और दोगला भी बताया.
दिल्ली में आम आदमी पार्टी की मुफ्त योजनाओं ने पिछले कुछ सालों में राज्य की राजनीति में महत्वपूर्ण बदलाव लाए हैं. मुफ्त बिजली, पानी, शिक्षा और स्वास्थ्य जैसी योजनाओं के चलते AAP ने दिल्ली की जनता में एक मजबूत आधार तैयार किया है.
आम आदमी पार्टी (AAP) 2015 और 2020 के चुनावों में शानदार जीत के साथ दिल्ली की सत्ता में काबिज रही है, और इस बार भी पार्टी ने अपने मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की अगुवाई में चुनावी मैदान में उतरने की तैयारी की है.
बीजेपी दिल्ली में अपनी सत्ता की वापसी के लिए हर संभव प्रयास कर रही है. पार्टी के पास एक मजबूत संगठनात्मक ढांचा और चुनावी अनुभव है, जो उसे राजधानी की राजनीति में अपनी मौजूदगी बनाए रखने में मदद कर सकता है.
दिल्ली की सियासत में केवल पार्टी का नहीं, बल्कि व्यक्तिगत नेताओं का भी बड़ा महत्व है. 1993 में जब बीजेपी ने मदनलाल खुराना को मुख्यमंत्री बनाया, तो पार्टी को जीत मिली, लेकिन फिर पार्टी के भीतर नेतृत्व को लेकर उथल-पुथल का सिलसिला शुरू हुआ.
दिल्ली विधानसभा चुनावों में इस बार दोनों ही दलों के बीच राजनीतिक माहौल बेहद गर्म हो गया है. भाजपा और AAP ने चुनावी प्रचार का नया तरीका अपनाया है, जिसमें शब्दों के साथ-साथ पोस्टरों और विज्ञापनों का इस्तेमाल भी किया जा रहा है.
Delhi Election: चुनाव से पहले दिल्ली में 'पोस्टर वॉर' शुरू हो गया है. केजरीवाल की पुजारी और ग्रंथी सम्मान योजना की घोषणा के बाद भाजपा ने एक पोस्टर जारी किया है. जिसमें पार्टी ने अरविंद केजरीवाल को ‘चुनावी हिंदू’ बताया है.
Delhi: AAP के संयोजक अरविंद केजरीवाल द्वारा घोषणा की गई योजना को लेकर एक नोटिस जारी हुआ है. दिल्ली सरकार के महिला एवं बाल कल्याण विभाग और स्वास्थ्य विभाग ने चेतवानी देते हुए कहा है कि दिल्ली सरकार की इस तरह की फिलहाल कोई योजना नहीं है.
गणतंत्र दिवस परेड की झांकियां केवल सजावट का हिस्सा नहीं होतीं, बल्कि ये भारतीय संस्कृति, विरासत और एकता का प्रतीक होती हैं. जब ये झांकियां कर्तव्य पथ से गुजरती हैं, तो ये दर्शाती हैं कि भारत के विभिन्न हिस्सों में कितनी विविधता है.